नई दिल्ली: नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी ने आतंकवादी संगठन इस्लामिक स्टेट ऑफ खुरासान प्रोंविस (आईएसकेपी) को मदद करने के आरोप में एक डॉक्टर अब्दुल रहमान उर्फ डॉक्टर ब्रेव के खिलाफ दिल्ली की विशेष अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया है. डॉक्टर को एनआईए ने बेंगलुरु से 17 अगस्त 2020 को गिरफ्तार किया था. आरोप है कि इस डॉक्टर ने सीरिया की यात्रा की थी और यह आतंकी संगठन के लिए अनेक एप्लीकेशंस बना रहा था.
17 अगस्त 2020 को डॉ अब्दुल रहमान को बेंगलुरु से गिरफ्तार किया था
एनआईए के एक आला अधिकारी ने बताया कि डॉक्टर अब्दुल रहमान का नाम दिल्ली में स्पेशल सेल द्वारा गिरफ्तार किए गए आईएसआईएस के कथित सहयोगी दंपत्ति जहांनजीब सामी वानी और उसकी पत्नी हिना बशीर के मामले की जांच के दौरान सामने आया था. राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने मामले की जांच के दौरान आवश्यक तथ्य सामने आने पर 17 अगस्त 2020 को डॉ अब्दुल रहमान को बेंगलुरु से गिरफ्तार किया था. एनआईए अधिकारी के मुताबिक पूछताछ के दौरान पता चला कि डॉक्टर रहमान ने बेंगलुरु मेडिकल कॉलेज एमबीबीएस के छात्र के रूप में दाखिला लिया था और इसके बाद वे कट्टरपंथी इस्लामिक उपदेशक के ऑनलाइन व्याख्यान अनवर अवलाकी को सुनकर आतंकियों की मदद करने को तैयार हो गए थे .
अब्दुल रहमान पर विभिन्न आतंकवादी गतिविधियों में हिस्सा लेने का है आरोप
इसी के तहत डॉक्टर रहमान कट्टरपंथी युवाओं के संपर्क में आया और उसने दिसंबर 2013 में सीरिया की यात्रा भी की. आरोप है कि सीरिया की यात्रा के दौरान उसने विभिन्न आतंकवादी गतिविधियों में हिस्सा भी लिया. इसके बाद डॉ रहमान वापस भारत लौट आया लेकिन वह लगातार आतंकी विचारधारा से जुड़ा रहा और उनकी हर संभव मदद करने की कोशिश करता रहा .डॉक्टर रहमान ने अपने ज्ञान आप्थेलैमिक लेजर एंड मेडिकल चिकित्सा के ज्ञान का प्रयोग आतंकवादियों की सहायता के लिए किया और उनके लिए अनेक ऐसी एप्लीकेशन नेटवर्क पर बनाएं जिनके जरिए वह अपना आरंभिक इलाज भी कर सकते थे और उस ज्ञान को दूसरी आतंकी घटनाओं में शामिल भी कर सकते थे .
आरोप है कि इसके लिए डॉक्टर रहमान ने आतंकी संगठन आईएसआईएस के लिए एक ऐसी एप्लीकेशन विकसित की जिसके जरिए वह लेजर गाइडेड एंटी टैंक मिसाइल के मामले में प्रयोग कर सकते थे. एनआईए के आरोपों के मुताबिक भारत आने के दौरान भी सुरक्षित वेबसाइटों के जरिए डॉक्टर रहमान लगातार आतंकियों के संपर्क में रहा और उनकी मदद करता रहा. एनआईए ने इस मामले में अपना पहला आरोपपत्र दिल्ली पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए श्रीनगर के आतंकी दंपत्ति के खिलाफ दायर किया था और जब इस मामले में डॉ रहमान का नाम सामने आया तो इस मामले की पूरी जांच कर पूरक आरोप पत्र दिल्ली की विशेष अदालत के सामने पेश किया है. एनआईए अधिकारी के मुताबिक इस मामले में अभी भी अनेक पहलू हैं जिनकी जांच का काम जारी है.
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