नई दिल्ली: निर्भया के आरोपियों को उनके अंतिम अंजाम तक पहुंचाने की तैयारी शुरू कर दी गई है. इसके तहत जहां एक तरफ चारों आरोपियों को तिहाड़ जेल मे इकट्ठा कर दिया गया है. वहीं उनकी अलग- अलग याचिकाओं का निपटारा किस तरह से किया जाए इसका आंकलन शुरू कर दिया गया है. उधर बक्सर जेल में फांसी देने के 10 रस्से तैयार किए जा रहे हैं.


निर्भया कांड के चार आरोपी जिन्हे सुप्रीम कोर्ट ने फांसी की सजा सुना दी है और अब आरोपियों और सरकार के बीच फांसी को लेकर रस्साकशी शुरू हो गई है. आरोपियो ने जहां फांसी को विलंबित करने के लिए विभिन्न कानूनी रास्तों का इस्तेमाल किया है वहीं अब जवाब देने के लिए सरकार और प्रशासन ने भी अपनी कमर कस ली है. इसके तहत निर्भया मामले के चौथे आरोपी पवन शर्मा को मंडोली जेल से तिहाड़ जेल लाया गया है. दिल्ली के मुख्य सचिव ने भी केन्द्रीय गृह सचिव से मुलाकात की है.


उधर निर्भया की मां को अभी भी फांसी की तारीख का इंतजार है. निर्भया की मां का कहना है,''मेरे लिए ये मायने रखता है कि उनकी पिटीशन खारिज हो जाए या फिर उनकी फांसी की तारीख सामने आ जाए. जब तक ये नही होता मुझे नही लगता कि इतनी जल्दी कुछ होने वाला है''.


सूत्रों के मुताबिक इस मामले को लेकर मंगलवार की सुबह दिल्ली के मुख्य सचिव ने केन्द्रीय गृह सचिव एके भल्ला से नॉर्थ ब्लाक मे मुलाकात की. सूत्रों ने बताया कि इस मुलाकात के दौरान निर्भया के अभियुक्तों की सुरक्षा और उनके सारे कानूनी बचाव के रास्ते के इस्तेमाल की चर्चा की गई. यह चर्चा भी हुई कि पिछले कुछ सालों में जो फांसी दी गई है वो सिर्फ एक ही अभियुक्त को दी गई है, जबकि इस मामले मे चार आरोपी हैं. लिहाजा अब तक इस मामले में चारों अभियुक्तों ने किस किस स्तर पर अलग अलग याचिकाएं दी हैं, उनका कैसे निपटारा किया जाए गृह मंत्रालय के अधिकारी उसका आंकलन कर रहे हैं.


ये भी पढ़ें-


नीतीश कुमार की पार्टी में बवाल, नागरिकता संशोधन बिल पर समर्थन के फैसले पर पुनर्विचार की गुजारिश


नागरिक संशोधन बिल: हम मर जाना पसंद करेंगे लेकिन जम्मू से नहीं जाएंगे-रोहिंग्या मुसलमान