नई दिल्ली: कार्मिक मंत्रालय ने कहा है कि निजी सचिवों और केंद्रीय मंत्रियों के लिए विशेष कार्य अधिकारियों की पदों के लिए लॉबिंग को खत्म कर दिया गया है और वरिष्ठ पदों पर नियुक्तियां अब सही काम के लिए सही व्यक्ति के मंत्र पर निर्धारित है.


मंत्रालय ने एक रिपोर्ट में कहा कि प्रतिभा और सत्यनिष्ठा मोदी सरकार में नियुक्तियों के लिए अहम हैं. प्रणाली में पारदर्शिता लाने के लिए सरकार के उच्च पदों में तबादले और नियुक्तियों से संबद्ध अटकलों की आईटी से जांच कराई गई थी.


हाल में आयोजित एक कार्यक्रम में जारी ‘थ्री ईयर्स ऑफ सस्टेंड एचआर इनिशिएटिव्स: फाउंडेशन फॉर ए न्यू इंडिया’ शीर्षक से प्रकाशित एक किताब में मंत्रालय ने कहा था कि शीर्ष स्तर की नियुक्तियों में अधिकारियों के चयन के लिए एक बेहद व्यापक अवधारणा के तहत काम किया गया. कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी हिस्सा लिया था.


इसके मुताबिक नियुक्तियों के लिए निर्णायक कारक ‘सही काम के लिये सही व्यक्ति’ था. इसके चलते वर्तमान में संयुक्त सचिव के तौर पर नियुक्त भारतीय पुलिस सेवा, भारतीय वन सेवा, भारतीय राजस्व सेवा और भारतीय लेखा परीक्षा और लेखा सेवा जैसी सेवाओं से 120 गैर-आईएएस अधिकारियों को शामिल करते हुए अब इन नियुक्तियों में भागीदारी अधिक हो गई है. संयुक्त सचिवों की कुल संख्या 291 है.


ये संख्या महत्वपूर्ण है क्योंकि सिविल सेवाओं में नौकरशाही की रीढ़ समझे जाने वाले भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) को मिलने वाले करियर अवसरों में समान अवसरों की मांग की जाती रही है.