कोलकाता पहुंचे अमित शाह, रैली ग्राउंड को ममता के कार्यकर्ताओं ने TMC पोस्टरों से रंगा
पश्चिम बंगाल की सत्ता से दूर बीजेपी, टीएमसी को चुनौती देने के लिए लंबे समय से तैयारी कर रही है. बीजेपी की नजर 2019 लोकसभा चुनाव पर है.

कोलकाता: बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह कोलकाता पहुंच गए हैं. दोपहर में आज वह यहां रैली करेंगे. इससे पहले अमित शाह के रैली ग्राउंड को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के कार्यकर्ताओं ने तृणमूल कांग्रेस के पोस्टरों से रंग दिया. बंगाल में बीजेपी और टीएमसे के बीच रैलियों से पहले पोस्टर वॉर चल रहा है. अमित शाह कोलकाता के एस प्लेनेट में इस रैली को संबोधित करेंगे. अमित शाह का भाषण दोपहर तीन बजे होगा. इससे पहले बीजेपी महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने कहा था कि पश्चिम बंगाल में एक करोड़ से अधिक अवैध प्रवासी हो सकते हैं और सुझाव दिया कि उनकी पहचान के लिए सीमावर्ती राज्यों में एनआरसी होना चाहिए.
वहीं राज्य बीजेपी के अध्यक्ष दिलीप घोष ने पहले कहा था कि अगर बीजेपी राज्य में सत्ता में आती है तो असम की तर्ज पर एनआरसी का प्रकाशन किया जाएगा. ममता बीजेपी की इस बात पर कड़ा विरोध जता चुकी हैं. अमित शाह ने राज्य में आगामी लोकसभा चुनाव के दौरान लोकसभा की 42 सीटों में से 22 पर जीत का लक्ष्य रखा है.
Ahead of BJP President Amit Shah's rally in Kolkata today, posters reading 'Anti-Bengal BJP Go Back' seen on the streets; #visuals from around Mayo road. #WestBengal. (10.08.18) pic.twitter.com/04jPzVmLUE
— ANI (@ANI) August 11, 2018
अमित शाह की कोलकाता में रैली से पहले शुरू हुआ पोस्टर वॉर
साल 2014 में टीएमसी ने 34 सीटों पर जीत दर्ज की थी वहीं बीजेपी को महज दो सीटें मिली थीं. बीजेपी में इस तरह की भावना है कि एनआरसी का कड़ा विरोध करने के कारण बनर्जी को अल्पसंख्यक वोटों के लिए तुष्टिकरण की राजनीति के तहत हिंदू विरोधीनेता के तौर पर पेश किया जा सकता है. शाह युवा मोर्चा की तरफ से आयोजित रैली को संबोधित करेंगे.
आपको बता दें कि पश्चिम बंगाल की सत्ता से दूर बीजेपी, टीएमसी को चुनौती देने के लिए लंबे समय से तैयारी कर रही है. बीजेपी की नजर 2019 लोकसभा चुनाव पर है. पिछले दिनों प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सूबे के मिदनापुर में रैली को संबोधित किया था. इस दौरान उनके निशाने पर टीएमसी अध्यक्ष ममता बनर्जी थी.
क्या है एनआरसी का फाइनल ड्राफ्ट?
असम में सोमवार को नेशनल रजिस्टर फॉर सिटीजन की दूसरी ड्राफ्ट लिस्ट का प्रकाशन कर दिया गया. जिसके मुताबिक कुल तीन करोड़ 29 लाख आवेदन में से दो करोड़ नवासी लाख लोगों को नागरिकता के योग्य पाया गया है, वहीं करीब चालीस लाख लोगों के नाम इससे बाहर रखे गए हैं. एनआरसी का पहला मसौदा 1 जनवरी को जारी किया गया था, जिसमें 1.9 करोड़ लोगों के नाम थे. दूसरे ड्राफ्ट में पहली लिस्ट से भी काफी नाम हटाए गए हैं.
नए ड्राफ्ट में असम में बसे सभी भारतीय नागरिकों के नाम पते और फोटो हैं. इस ड्राफ्ट से असम में अवैध रूप से रह रहे लोगों को बारे में जानकारी मिल सकेगी. असम के असली नागरिकों की पहचान के लिए 24 मार्च 1971 की समय सीमा मानी गई है यानी इससे पहले से रहने वाले लोगों को भारतीय नागरिक माना गया है.
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