Haryana Violence: हरियाणा में सांप्रदायिक झड़पों के बीच गुरुग्राम में जुमे नमाज मस्जिदों में नहीं हुई. मुसलमानों से आग्रह किया गया कि वो अपने घरों में रहकर ही नमाज अदा करें. शुक्रवार (04 अगस्त) को शहर में चप्पे-चप्पे पर कड़ी सुरक्षा के प्रबंध किए गए. सभी मस्जिदों के बाहर और अंदर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात रहा.


हाजी अहमद खान ने बताया कि नमाज के लिए बाहर आने वाले लोगों से अपील की गई कि वो अपने घरों में रहकर ही नमाज पढ़ें. राजीव चौक और सेक्टर 29 लेजर वैली पार्क में भी नमाज के लिए लोग मस्जिदों में नहीं पहुंचे. इन दोनों जगहों पर पुलिस की कड़ी सुरक्षा देखने को मिली.


जमीयत उलेमा के अध्यक्ष ने जारी किया संदेश


इस दौरान जो मस्जिदों में रहते हैं सिर्फ उन्हीं लोगों ने मस्जिद में नमाज अदा की. इसके अलावा किसी अन्य को मस्जिद में प्रवेश करने की इजाजत नहीं दी गई. गुरुग्राम में जमीयत उलेमा के अध्यक्ष मुफ्ती सलीम कासमी ने गुरुवार (03 अगस्त) को एक वीडियो संदेश जारी किया था और लोगों से अपने घरों में रहकर ही जुमे की नमाज अदा करने की अपील की थी.


नूंह हिंसा के बाद गुरुग्राम में तनाव


सोमवार (31 जुलाई) को हरियाणा के नूंह में शुरू हुई हिंसा राज्य के अन्य जिलों में भी पहुंच गई. जिसमें गुरुग्राम भी शामिल रहा. इलाके में आगजनी घटनाएं देखने को मिलीं. एक मस्जिद में भीड़ ने आग लगा दी जिसमें इमाम की मौत हो गई. हरियाणा हिंसा में 6 लोगों की मौत हो चुकी है जिसमें 2 होमगार्ड भी शामिल हैं.


सबसे पहले झड़पें सोमवार को विश्व हिंदू परिषद (वीएचपी) की शोभायात्रा के दौरान हुईं. जैसे ही भीड़ ने जुलूस पर पत्थरों से हमला किया, 2,500 से अधिक लोग शरण लेने के लिए एक मंदिर में भाग गए. शाम ढलते-ढलते हिंसा बढ़ती गई. आधी रात के बाद एक मस्जिद को आग लगा दी गई.  नूंह और पड़ोसी शहर गुरुग्राम में भीड़ के उग्र होने के कारण सौ से अधिक वाहनों को आग लगा दी गई और तोड़फोड़ की गई.


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