भुवनेश्वरः ओडिशा में कोविड -19 मामले लगातार बढ़ रहे हैं. इस बीच ओडिशा सरकार ने शनिवार को छत्तीसगढ़ के साथ लगने वाले अपने बॉर्डर को सील कर दिया और अंतरराज्यीय सीमा पर पेट्रोलिंग बढ़ा दी है. वरिष्ठ अधिकारियों के अनुसार, छत्तीसगढ़ की सीमा से लगे जिलों ने पिछले कुछ दिनों में कोरोना संक्रमण मामलों में इजाफा हुआ है. इसके बाद आदेश जारी किए गए हैं कि पड़ोसी राज्य से आने वाले लोगों को राज्य में एंट्री के लिए अपनी कोविड नेगेटिव रिपोर्ट दिखानी होगी.
मुख्य सचिव एससी महापात्रा ने हाल ही में पश्चिमी जिलों कालाहांडी और नुआपाड़ा का दौरा किया. महापात्रा ने अधिकारियों को निर्देश दिया था कि वे कोरोना के जागरूकता अभियान तेज करें और चेतावनी के बावजूद हेल्थ प्रोटोकॉल का पालन नहीं करने वाले लोगों के खिलाफ सख्त एक्शन लें.
जिले में चार दिन में बढ़े पांच गुना मामले
नुआपाड़ा में रिव्यू मीटिंग में महापात्रा कहा कि “दो-तीन दिनों के लिए जागरूकता अभियान चलाने के बाद कोविड -19 प्रोटोकॉल उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई करें. लोगों को यह समझाएं कि संक्रमण से बचने के लिए फेस मास्क पहनना अनिवार्य है. ” आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, छत्तीसगढ़ की सीमा से सटे नुआपाड़ा जिले में कोविड -19 की स्थिति को "क्रिटिकल" कैटेगरी में रखा गया है, क्योंकि पिछले चार दिनों में यहां संक्रमण के मामलों में पांच गुना वृद्धि दर्ज की गई थी.
मास्क नहीं पहनने पर जुर्माना किया डबल
मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने इस बीच मास्क नहीं पहनने पर लगने वाले जुर्माना को दोगुना करने का आदेश दिया है. लोगों को पहले दो बार उल्लंघन करने पर 2,000 रुपये तक फाइन देना होगा और बाद में ज्यादा बार उल्लंघन करने पर 5,000 रुपये तक फाइन लगाया जाएगा.
राज्य में करीब 2 हजार लोगों की हो चुकी है मौत
ओडिशा के प्रवासी श्रमिक देश भर में कोविड की स्थिति में सुधार के बाद अपने काम पर वापस लौट गए थे, वे अब वापस आ रहे हैं. राज्य के श्रम मंत्री सुशांत सिंह ने कहा कि लौटने वाले लोगों के लिए व्यवस्था की जा रही है. राज्य के स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, ओडिशा ने शनिवार को 1,374 लोग संक्रमित मिले और संक्रमण के कुल मामले बढ़कर 3,48,182 हो गए. राज्य में 1,926 लोगों की कोरोना से मौत हो चुकी है.
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