नई दिल्लीः भारतीय वायुसेना का एक एएन-32 विमान आज चीन सीमा के करीब अरूणाचल प्रदेश में गायब हो गया. रूस में बने इस एनोटोव मिलिट्री ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट में पायलट और बाकी क्रू के सदस्यों सहित कुल 13 लोग सवार थे. वायुसेना के मुताबिक, विमान को खोजने के लिए सभी संसाधनों का प्रयोग किया जा रहा है जिसमें लड़ाकू विमान सहित थलसेना की टुकड़ियां भी शामिल हैं. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने वायुसेना से सर्च ऑपरेशन की पूरी जानकारी ली है.


जानकारी के मुताबिक, आज दोपहर 12.25 पर वायुसेना का एएन-32 विमान असम के जोरहट से अरूणाचल प्रदेश के मेचूका एडवांस लैंडिंग ग्राउंड के लिए निकला था. विमान में कुल 13 लोग सवार थे. दोपहर एक बजे इस विमान ने एटीसी से संपर्क किया था. लेकिन उसके बाद से इसका कोई अता-पता नहीं है. जब तय-समय पर ये विमान मेचूका नहीं पहुंचा और ना ही कोई संपर्क हुआ तो वायुसेना ने इसके लिए रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया.


रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता के मुताबिक, खुद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने वायुसेना के वाइस चीफ, एयर मार्शल राकेश सिंह भदौरिया से घटना और रेस्क्यू ऑपरेशन के बारे में पूरी जानकारी ली और पूरी स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं.


सूत्रों के मुताबिक, विमान में एक विंग कमांडर, एक स्कॉवड्रन लीडर, चार फ्लाईट लेफ्टिनेंट्स और सात (07) एयरमैन सवार थे. ये विमान जोरहट स्थित 43 स्कॉवड्रन का ही था. चीन सीमा के करीब अरूणाचल प्रदेश के मेचूका में वर्ष 2017 में ही इस लैंडिंग-ग्राउंड को शुरू किया गया था. यहां पर जल्द ही सिविल फ्लाईट्स भी लाने की योजना थी. मेचूका एयर-स्ट्रीप चीन सीमा के बेहद करीब है और देश के सबसे दूरस्थ और दुर्गम इलाकों में से एक है.


आपको बता दें कि वर्ष 2009 में भी मेचूका के करीब एक एएन-32 विमान क्रैश हो गया था जिसमें सवार सभी 13 लोगों की जान चली गई थी. वर्ष 2016 में भी तमिलनाडु के तामब्रम से पोर्ट ब्लेयर जा रहा वायुसेना का एक एएन-32 समंदर के ऊपर से गायब हो गया था, जिसका आजतक कोई अता पता नहीं है. इस विमान में कुल 29 लोग सवार थे.