मेरठ के सरधना क्षेत्र की फैक्ट्री में पॉम आयल, मिल्क पाउडर, रिफाइंड, रंग मिलाकर नकली मावा तैयार किया जा रहा था. फूड विभाग की टीम ने यहां से भारी मात्रा में तैयार नकली मावा और उसे बनाने की सामग्री को कब्जे में ले लिया गया है. टीम ने सभी सामग्री का सैम्पल लेने के साथ कच्चे माल को सील करने के साथ साथ तैयार माल को भी जमीन में दबा दिया है.
फूड विभाग की टीम ने क्या-क्या पकड़ा?
खोया भट्टी पर छापा मारकर फूड विभाग ने 150 किलो खोया, 2025 किलो स्टार्च, 2125 किलो स्किम्ड मिल्क पाउडर और 1110 किलोरिफाइंड सीज किया. 10 अक्टूबर को मेरठ के सरधना में तीन खोया भट्टियों पर छापा मारा गया था. इसमें 250 किलो नकली खोया, 150 लीटर वनस्पति और 85 किलो स्किम्ड मिल्क पाउडर सीज किया है. फूड विभाग ने माल के नौ सैंपल भी लिए हैं.
एबीपी न्यूज़ ने ‘ऑपरेशन मीठा ज़हर’ में क्या दिखाया था?
दरअसल त्योहारों पर दूध और उससे बनी चीजों की मांग बहुत ज्यादा बढ़ जाती है. जबकि उत्पादन इतना नहीं बढ़ता, ऐसे में मांग को पूरा करने के लिए नकली दूध का कारोबार धड़ल्ले से शुरु हो जाता है. देखने में मिठाईयां बिलकुल असली जैसी होती हैं. हालात यह हैं कि खुद केंद्र सरकार कह चुकी है कि मिलावट खतरनाक स्तर पर हो रही है.
पिछले साल ही सरकार बोल चुकी है कि देश में तीन में से दो लोग नकली मिलावटी दूध पी रहे हैं. ताजा हालात क्या है यही जानने के लिए एबीपी न्यूज़ की टीम उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर और उसके आस-पास की जगहों पर नकली दूध और मावे बनाने की फैक्ट्री में पहुंची और वहां की सच्चाई दिखाई. ये मिलावटी सामान दिल्ली-एनसीआर से लेकर उत्तर प्रदेश के कई बड़े शहरों में भेजा जा रहा है.
(एबीपी न्यूज़ आपको सावधान कर रहा है कि त्योहारों के इस मौसम में आपको और ज्यादा चौकन्ना रहने की ज़रूरत है. आपको अपने घर में आने वाले दूध पर नज़र रखने की जरूरत है, क्योंकि त्योहारों के इस मौसम में दूध की डिमांड बढ़ जाती है और इस डिमांड को मिलावट के जरिए पूरा किया जाता है.)
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