जश्न और पार्टी सेलिब्रेशन के लिए चर्चित देश के छोटे राज्यों में से एक गोवा में लोकसभा की महज 2 सीटें हैं. उत्तर गोवा और दक्षिण गोवा सीट. इनपर जीत और हार का अंतर बहुत कम होता है . साल 2014 में भाजपा में लोकसभा की दोनों सीट अपने नाम की थी, लेकिन 2019 में उत्तर गोवा सीट से श्रीपद नाइक जीते, लेकिन दक्षिण गोवा की सीट भाजपा हार गई. इस बार भाजपा ने दक्षिण गोवा सीट से पहली बार महिला उम्मीदवार को मैदान में उतारा है . भाजपा उम्मीदवार पल्लवी डेम्पो उद्योगपति घराने से है और इसी मुद्दे पर विपक्ष ने बीजेपी को घेरना शुरू कर दिया है. दक्षिण गोवा से बीजेपी उम्मीदवार पल्लवी डेम्पो को उम्मीदवार घोषित करने के बाद विपक्ष ने अब एकजुट होकर इस फैसले की आलोचना की है. कांग्रेस, आप और गोवा फॉरवर्ड पार्टी ने दावा किया है कि पल्लवी डेम्पो को इसलिए उम्मीदवारी दी गई है क्योंकि वह राज्य के मशहूर उद्योगपति श्रीनिवास डेम्पो की पत्नी हैं.
विपक्ष के निशाने पर पल्लवी डेम्पो
गोवा के वरिष्ठ कांग्रेस नेता गिरीश चोदनकर ने कहा, "यह पूरी तरह से भाजपा का विशेषाधिकार है कि वह जिसे चाहे, उसे चुनाव का टिकट दे. हालांकि, एक व्यवसायी श्रीनिवास डेम्पो की पत्नी को उम्मीदवारी देना यह दर्शाता है कि कैसे उद्योगपतियों को भाजपा , वफादार पार्टी कार्यकर्ताओं की तुलना में अधिक पसंद करती है. ऐसा लगता है कि भाजपा के जमीनी स्तर के कार्यकर्ता महज कॉंट्रैक्ट कर्मचारी हैं. राजनीति या सामाजिक कार्य से जिसका लेना देना नहीं ऐसे उम्मीदवार को बीजेपी कार्यकर्ताओं पर थोपा है. पहले उन्होंने कांग्रेस पार्टी और एमजीपी से भी नेताओं और विधायकों को आयात किया, जिन्हें भाजपा कैडर पर थोप दिया गया था और अब डेम्पो की उम्मीदवारी फिर से एक और उदाहरण है . गोवा के वरिष्ठ कांग्रेस नेता गिरीश चोदनकर ने कहा, '' पल्लवी डेम्पो को उम्मीदवारी देने से कांग्रेस को फायदा होगा. दक्षिण गोवा निर्वाचन क्षेत्र से वर्तमान में कांग्रेस नेता फ्रांसिस्को सरदिन्हा सांसद है.
गोवा फॉरवर्ड पार्टी क्यों भड़की?
गोवा फॉरवर्ड पार्टी के प्रमुख विजय सरदेसाई को लगता है कि भाजपा केवल दक्षिण गोवा में वोट हासिल करने के लिए ब्रांड डेम्पो का फायदा उठाने की कोशिश कर रही है, जहां पार्टी 1962 के बाद से केवल दो बार जीती है. विजय सरदेसाई ने सोशल मीडिया पर लिखा की, "पल्लवी डेम्पो को बीजेपी ने दक्षिण गोवा के उम्मीदवार के रूप में नामांकित करके, भाजपा गोवा ने स्वीकार किया है कि गोवा के लोग हमेशा से विश्वास करते रहे हैं - महिला मोर्चा सहित पूरे भाजपा परिवार में एक भी पार्टी सदस्य नहीं है, जो समझदार, राजनीतिक रूप से जागरूक लोगों का सामना कर सकें. गोवा के मतदाताओं के बीच विश्वसनीयता और प्रतिष्ठा के संकट का सामना कर रही बीजेपी अब दक्षिण गोवा में जीत हासिल करने के लिए डेम्पो नाम का सहारा लेना चाह रही है, इस प्रकार पार्टी ने कबूल कर लिया है कि गोवा में ब्रांड बीजेपी की राजनीतिक किस्मत अब निर्भर है! ब्रांड डेम्पो पर, जो चुनावी राजनीति में निर्विवाद रूप से नई हैं.
आम आदमी पार्टी ने उठाया इलेक्टोरल बॉण्ड का कनेक्शन
गोवा की आम आदमी पार्टी यूनिट को लगता है कि भाजपा शुरू में चार महिला नेताओं सहित पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर विचार कर रही थी, लेकिन अचानक पल्लवी डेम्पो के पक्ष में निर्णय लिया गया. गोवा आप प्रमुख अमित पालेकर ने एक वीडियो संदेश और मीडिया से बातचीत में कहा "अपने उम्मीदवार की घोषणा करने से तीन महीने पहले, बीजेपी कह रही थी कि वे अपनी पार्टी से तीन नामों पर विचार कर रहे हैं. चुनाव नरेंद्र सवाईकर, दामू नाइक या बाबू केवलेकर के बीच था. बीजेपी की चार महिला नेताओं के बारे में भी बात की गई थी. हालांकि, अचानक पल्लवी डेम्पो का नाम सामने आया, जो एक उद्योगपति की पत्नी हैं. ऐसा लगता है कि भाजपा दक्षिण गोवा में हार से घबरा गई है और इसीलिए उन्होंने इस प्रसिद्ध उद्योगपति की प्रसिद्धि पर सवारी करने का फैसला किया है,'' . गोवा आप प्रमुख अमित पालेकर ने आरोप लगाया की पल्लवी डेम्पो की कंपनी में गोवा विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा को चंदा दिया था जो जानकारी इलेक्टोरल बॉण्ड के माध्यम से सबके सामने आई है .
भाजपा गोवा ने क्या कहा?
इस बीच भाजपा ने प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि पल्लवी डेम्पो ने पार्टी के कई महिला मोर्चा कार्यक्रमों में भाग लिया था और पूरा कैडर अब उनके साथ है. भाजपा के गोवा प्रवक्ता गिरिराज पई वर्नेकर ने कहा, विपक्ष हार से घबरा गया है. बीजेपी ने यह भी सवाल किया है कि इंडिया गठबंधन ने अब तक इस सीट से अपने उम्मीदवार की घोषणा क्यों नहीं की है.
गिरिराज पई वर्नेकर ने कहा, "बीजेपी के उम्मीदवारों के चयन पर इंडिया गठबंधन सहयोगियों द्वारा बहुत सारी टिप्पणियाँ की गई हैं. फिर भी, यह एक तथ्य है कि बीजेपी के दक्षिण गोवा उम्मीदवार की घोषणा के 2 सप्ताह बाद भी, कांग्रेस एक उम्मीदवार को नामांकित करने में विफल रही है. जहां तक पल्लवी का सवाल है उन्होंने कई भाजपा महिला मोर्चा कार्यक्रमों में भाग लिया है और भाजपा की सदस्य भी रही हैं. शिक्षा और समाज सेवा के क्षेत्र में उनके काम को किसी परिचय की आवश्यकता नहीं है. इंडिया गठबंधन को बीजेपी पर ध्यान केंद्रित करने के बजाय आंतरिक मतभेदों को दूर करने और उम्मीदवार ढूंढने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए.''