(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
सदन में किया जाता है अध्यादेश का विरोध, अभी से इतना प्रचार क्यों? विपक्ष की मीटिंग से पहले केजरीवाल की शर्त पर बोले खरगे
Opposition Meeting in Patna : पटना में आज विपक्षी दलों की बैठक में भाग लेने के लिए तमिलनाडु, महाराष्ट्र और दिल्ली से गैर-बीजेपी विचारधारा की सभी विपक्षी पार्टियों इकट्ठा हो रही हैं.
Opposition Parties Meeting: बिहार में शुक्रवार (23 जून) को विपक्षी एकजुटता को लेकर मीटिंग होनी है. इस बैठक में कांग्रेस समेत विपक्षी दल बीजेपी के खिलाफ रणनीति पर चर्चा करने वाले हैं. इस मीटिंग में दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल भी हिस्सा लेने वाले हैं, लेकिन उस मीटिंग को लेकर उन्होंने कुछ शर्तें रखी गई हैं, जिस पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की प्रतिक्रिया आई है.
मल्लिकार्जुन खरगे ने केजरीवाल की शर्त पर कहा, अध्यादेश का विरोध सदन में होता है, लेकिन इसका प्रचार बाहर नहीं होना चाहिये, वो इसका बाहर इतना प्रचार क्यों कर रहे हैं. उन्होंने कहा, सदन में अध्यादेश पर बात होनी चाहिये. उन्होंने कहा, हम लोग सब मिलकर बीजेपी के खिलाफ लड़ना चाहते हैं, इसको लेकर हम आज मीटिंग करने जा रहे हैं. इस मीटिंग में सभी विपक्षी दलों की बीजेपी के खिलाफ एक राय बनेगी, और इससे संदेश जाएगा कि बीजेपी को हराना है.
क्या है अरविंद केजरीवाल की शर्त?
दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल ने विपक्षी नेताओं को पत्र लिखकर आज होने वाली गैर-बीजेपी दलों की बैठक में राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में प्रशासनिक सेवाओं के नियंत्रण को लेकर केंद्र के अध्यादेश पर चर्चा करने और मामले पर अपना रुख स्पष्ट करने को कहा. केजरीवाल ने कहा, अगर विपक्ष अपनी मीटिंग में सबसे पहले इस मुद्दे पर चर्चा नहीं करता है तो आम आदमी पार्टी उस मीटिंग से वॉक आउट करेगी.
केजरीवाल की शर्त पर क्या बोले तेजस्वी यादव?
अरविंद केजरीवाल की शर्त पर बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव कोई भी बयान देने से गुरुवार को बचते नजर आए. उन्होंने कहा, विपक्षी नेताओं की यह पहली बैठक नहीं है और न ही यह आखिरी होगी. अलग-अलग राय रखने वाले नेता एक साथ मिलने पर सहमत हुए हैं और वे सभी उन मुद्दों को उठाएंगे जिन्हें वे गंभीर मानते हैं. इसमें कोई समस्या नहीं है.
वहीं, दिल्ली कांग्रेस के नेता संदीप दीक्षित ने गुरुवार को आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल पर विपक्षी एकता को तोड़ने का बहाना ढूंढने का आरोप लगाया और कहा कि पटना में होने वाली विपक्षी दलों की बैठक में उनके जाने या न जाने से कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है.
उन्होंने दिल्ली के सीएम पर तंज कसते हुए कहा, यह नेताओं और देश की चिंता करने वालों की बैठक है, सौदेबाजों की बैठक नहीं है. राजनीतिक सौदेबाजी की आपको (केजरीवाल) आदत होगी, कांग्रेस को इसकी आदत नहीं है.
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