नई दिल्ली: सर्जिकल स्ट्राइक के बाद गलती से पाक की सीमा में दाखिल हुए भारतीय जवान चंदू लाल चव्हाण को पाकिस्तान ने वाघा बॉर्डर पर भारत को सौंप दिया है.
पाकिस्तानी सेना की मीडिया इकाई (आइएसपीआर) द्वारा जारी बयान के अनुसार, ''मित्रभाव दिखाते हुए' और अंतर्राष्ट्रीय नियंत्रण रेखा और अंतर्राष्ट्रीय सीमा पर शांति कायम रखने की कोशिशों के तहत हमने सिपाही चंदू बाबूलाल चव्हाण को मानवता के नाते वाघा सीमा पर भारतीय अधिकारियों के हवाले कर दिया जाएगा.'
वहीं जवान चंदू लाल चव्हाण के बड़ी भाई भूषण चव्हाण ने मीडिया से बात करते हुए कहा है कि मैं भारत सरकार का शुक्रगुजार हूं. DGMO लेवल पर जो बात हुई है उसका भी मैं शुक्रगुजार रहूंगा. इंडियन आर्मी का मैं भी एक जवान हूं और तमाम तरह के जो प्रयास किए गए हैं चंदू को लाने के लिए वो मैं जिंदगी भर नहीं भूलूंगा. मेरी जो ड्यूटी है वो मैं और ज्यादा ईमानदारी से करूंगा.
भूषण ने आगे कहा, 'जब तक मेरी सांस चलती रहेगी तब तक मैं देश की सेवा करता रहूंगा. जिन्होंने देश के जवान चंदू के लिए अपना समर्थन जताया है उन सभी का मैं शुक्रगुजार रहूंगा.'
जम्मू और कश्मीर के मेंढर में 37 राष्ट्रीय राइफल्स की चौकी पर तैनात 22 साल के चंदू 29 सितंबर को भारतीय सेना द्वारा की गई सर्जिकल स्ट्राइक के ठीक बाद गलती से नियंत्रण रेखा पार कर पाकिस्तान में प्रवेश कर गए थे.
आपको बता दें कि चंदू के पाकिस्तानी सेना के कब्जे में चले जाने की खबर पाकर उनकी दादी का दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था. भारत चंदू की रिहाई के लिए लगातार पाकिस्तान के संपर्क में था.