गुजरात: सिब्बल से मुलाकात के बाद भी पाटीदारों ने नहीं खोले पत्ते, सस्पेंस बरकरार
करीब दो दशक से सत्ता से बाहर कांग्रेस राज्य में वापसी के लिए पूरा जोर लगा रही है. जहां बीजेपी प्रधानमंत्री के
नई दिल्ली: गुजरात में कांग्रेस को झटका लगता दिख रहा है. पाटीदारों और कांग्रेस के बीच आरक्षण को लेकर बात नहीं बन पाई है. देर रात 2 बजे कर कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल और पाटीदारों के बीच बैठक चली. दो-तीन दिनों में एक और बैठक के बाद पाटीदार एलान कर सकते हैं. इस बीच खबर है कि कांग्रेस ने तीन फॉर्मूले भी पाटीदारों के सामने रखे हैं.
कांग्रेस ने दिया ये प्रपोजल! सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस के प्रपोजल के मुताबिक पाटीदारों के लिए आरक्षण को एससी एसटी और ओबीसी के लिए जारी 49 प्रतिशत से अलग रखा गया है. पाटीदारों ने आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के कोटे से आरक्षण को नकार दिया है.
मुलाकात के बाद क्या बोले कपिल सिब्बल ? पाटीदार नेताओं से बातचीत के बाद कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने कहा, "मुलाकात अच्छी रही, हमने उन्हें अपनी बात बताई और उन्होंने हमें अपनी बात बताई. करीब दो ढ़ाई घंटे तक बातचीत चली. मेरे हिसाब से अच्छी बातचीत हुई. अभी किसी फॉर्मूले पर चर्चा नहीं हुई, उन्होंने कहा है कि दो तीन दिन बाद बताएंगे.''
कानून बिगाड़ सकता है खेल आरक्षण को लेकर कानूनी दांव पेच कांग्रेस का खेल बिगाड़ सकते हैं. सुप्रीम कोर्ट ने लिमिट तय की है कि आऱक्षण 50 फीसदी से ज्यादा नहीं हो सकता है. गुजरात में पहले से 49 फीसदी आरक्षण है जिसमें 27 फीसदी आरक्षण ओबीसी कोटे का है. इसलिए कांग्रेस राज्य में 20 % का एक और कोटा बनाने की बात कर रही है जो आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों यानी EBC को दिया जाएगा.
पाटीदारों को इसी 20% में से आरक्षण देने का वादा भी किया जा रहा है जो कि हार्दिक को नामंजूर है. क्योंकि गुजरात की बीजेपी सरकार ने पिछले साल अप्रैल EBC को नौकरियों और एडमिशन में 10 फीसदी आरक्षण दिया था, जिसे 4 महीने बाद ही गुजरात हाई कोर्ट ने रद्द कर दिया था.