पीयूष गोयल: ‘डिफॉल्टर’ कंपनियों से सरकार ने वसूले तीन लाख करोड़ रुपये
वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने बजट भाषण में कहा कि सरकार ने कर्ज नहीं चुकाने वाली (डिफॉल्टर) बड़ी कंपनियों से तीन लाख करोड़ रुपये की वसूली की है. सरकार ने बजट में किसानों के लिेए बड़ी राहत दी है.
नई दिल्ली: वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने शुक्रवार को कहा कि सरकार ने कर्ज नहीं चुकाने वाली (डिफॉल्टर) बड़ी कंपनियों से तीन लाख करोड़ रुपये की वसूली की है. लोकसभा में 2019-20 का अंतरिम बजट पेश करते हुए गोयल ने कहा कि हमने फोन बैंकिंग की संस्कृति को समाप्त किया है. यहां उनका इशारा संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए) सरकार में फोन के जरिये ही बड़े पैमाने पर कर्ज दिए जाने की ओर था.
गोयल ने कहा कि बैंक ऑफ इंडिया, ओरियंटल बैंक आफ कॉमर्स और बैंक ऑफ महाराष्ट्र, भारतीय रिजर्व बैंक की त्वरित सुधारात्मक कार्रवाई (पीसीए) के दायरे से बाहर आ चुके हैं.
वित्त मंत्री ने उम्मीद जताई कि अन्य बैंक भी जल्द पीसीए से बाहर निकलेंगे. गोयल ने कहा कि हमारी सरकार के पास रिजर्व बैंक से डूबे कर्ज की ओर देखने और राष्ट्र के समक्ष सही तस्वीर पेश करने का साहस था. उन्होंने कहा कि दिवाला और शोधन अक्षमता संहिता से डूबे कर्ज की वसूली में मदद मिल रही है.
बजट भाषण में वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि मार्च तक उन सभी 2.5 करोड़ घरों या परिवारों तक बिजली पहुंच जाएगी, जो अभी इससे वंचित है. उन्होंने लोकसभा में वित्त वर्ष 2019-20 का बजट पेश करते हुए कहा कि सौभाग्य योजना का काम लगभग पूरा हो गया है.
वित्त मंत्री ने बजट में आयुष्मान भारत योजना का भी जिक्र किया. उन्होंने कहा कि यह विश्व की सबसे बड़ी हेल्थ स्कीम है. इस योजना के तहत अबतक कुल 10 लाख लोगों ने हेल्थ लाभ उठाया है. आंकड़ों के आधार पर वित्त मंत्री ने कहा कि इस योजना के तहत गरीब लोगों को 3 हजार करोड़ रुपए की बचत हुई है.
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