PM JANMAN Maha Abhiyan: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार (15 जनवरी) को जनजाति आदिवासी न्याय महाअभियान (PM-JANMAN) कार्यक्रम की शुरुआत की. पीएम मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आदिवासी महिलाओं से उनको मिलने वाली योजनाओं की जानकारी भी ली. साथ ही लाभार्थियों से हल्के फुल्के मजाक के लहजे में बातचीत की, जिसको सुनकर महिलाएं मुस्कुराती हुई भी नजर आईं.
पीएम मोदी ने जनमन योजना की एक लाभार्थी से एलपीजी गैस सिलेंडर व चूल्हा आने के बाद जीवन में आए बदलावों पर अनुभव साझा करने को कहा. उनसे पूछा कि इससे दैनिक जीवन में किस तरह के बदलाव आएं हैं? इस पर महिला ने जवाब दिया कि पहले जंगल से लकड़ी एकत्र कर खाना बनाते थे. अब बहुत आसान हो गया है.
'मिट्टी के चूल्हे पर खाना पकाना मुश्किल होता होगा'
इस पर पीएम मोदी ने कहा कि गैस आने के बाद तो आपने नई-नई चीजें पकाना शुरू कर दिया होगा, जिन्हें मिट्टी के चूल्हे पर बनाना मुश्किल होता था. अब तो काफी बन पाता होगा. महिला ने जवाब देते हुए कहा कि जल्दी खाना बन जाता है. इस पर पीएम ने हास्य विनोद के साथ पूछा कि यह बताइए, कुछ नया बनाना सीखा है, क्या-क्या नई चीजें सीखी हैं?
'कोई अच्छी चीज बनाते हो तो बताओ'
प्रधानमंत्री के सवाल को सुनकर लाभार्थी में थोड़ा झिझक महसूस की जिस पर पीएम ने हंसते हुए कहा, 'कोई अच्छी चीज बनाते हो तो बताओ, हम खाने के लिए नहीं आएंगे, आप चिंता मत कीजिए.
पीएम जनमन लाभार्थियों को ₹540 करोड़ की पहली किस्त जारी
पीएम-जनमन को विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूहों (पीवीटीजी) के सामाजिक-आर्थिक कल्याण के लिए 15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर लॉन्च किया गया है. पीएम मोदी ने एक लाख पीएम जनमन लाभार्थियों के लिए रिमोट से ₹540 करोड़ रुपए की पहली किस्त भी जारी की. इस योजना से लाभार्थियों को 11 मूलभूत सुविधाएं मिल सकेंगी.
केंद्र सरकार ने इस योजना के लिए 24,000 करोड़ रुपये आवंटित किये हैं जिसका 9 मंत्रालयों से संबंध रहेगा. योजना के अंतर्गत वंचित आदिवासी समाज को कई मूलभूत सुविधाओं जैसे, शिक्षा, रोजगार, बिजली, पानी, सड़क, चिकित्सा, स्वच्छता ओर दूसरी बुनियादी जरूरतों को मुहैया कराने का काम किया जाएगा. साथ ही दूरसंचार संपर्क और स्थायी आजीविका के अवसरों को बेहतर से बेहतर बनाने पर भी बल दिया जाएगा.
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