नई दिल्लीः कोरोना महामारी से मुकाबले में प्रभावी नियंत्रण से लेकर तेज़ रफ़्तार टीकाकरण तक कई कारगर उपाय करने के साथ ही भारत ने अब भविष्य में ऐसे खतरों के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय व्यवस्थाएं मजबूत करने के लिए पेशबंदी शुरू कर दी है. इस कड़ी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पड़ोसी देशों के साथ चिकित्सा कर्मियों के लिए अलग वीजा और एयर एंबुलेंस आवाजाही के लिए प्रावधान बनाने पर जोर दिया. कोरोना महामारी की रोकथाम में बेस्ट प्रैक्टिसेज की साझेदारी के लिए भारत ने कार्यशाला आयोजित कर अपने सुझावों साझा किए .
प्रधानमंत्री मोदी ने दक्षिण एशिया और हिन्द महासागर के पड़ोसी द्वीप देशों के बीच स्वास्थ्य इमरजेंसी के वक्त स्वस्थ्य कर्मियों की सुगम आवाजाही के लिए अलग वीज़ा समझौता किए जाने का सुझाव दिया. साथ ही नागरिक उड्डयन मंत्रालयों के बीच एम्बुलेंस उड़ानों की सुविधा के लिए बहुपक्षीय समझौते का भी प्रस्ताव रखा. इस बैठक में पाकिस्तान समेत भारत के पड़ोसी देश और मालदीव जैसे हिंद महासागर के निकटवर्ती द्वीप देश भी शामिल थे.
पीएम ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए हुई इस बैठक को संबोधित करते हुए पांच प्रस्ताव दिए. इसमें चिकित्सा कर्मियों के लिए अलग वीजा व्यवस्था और एयर एंबुलेंस नियम बनाने के साथ ही क्षेत्रीय स्तर पर कोरोना टीकाकरण संबंधी आंकडों की साझेदारी का आग्रह किया ताकि स्थानीय आबादी में इसके प्रभाव का बेहतर अध्ययन किया जा सके. इसके साथ ही पीएम ने दक्षिण एशिया में बीमारियों से मुकाबले के लिए प्रौद्योगिकी आधारित ढांचा बनाए जाने का भी सुझाव दिया भविष्य में रोगों से लड़ने की व्यवस्था को मजबूत किया जा सके.
सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान समेत सभी देशों ने प्रधानमंत्री मोदी की तरफ से दिए गए सुझावों का समर्थन किया. साथ ही इस बात को स्वीकार किया कि रोगों की रोकथाम के लिए क्षेत्रीय स्तर पर कार्यतंत्र की जरूरत है. पाकिस्तान के अलावा सभी देशों ने भारत की तरफ से कोरोना टीकों को लेकर मिल रही मदद पर पीएम का शुक्रिया भी अदा किया. ध्यान रहे कि भारत ने पाकिस्तान के अतिरिक्त अपने सभी पड़ोसियों को कोरोना के टीके मुहैया कराए हैं.
पाकिस्तान की तरफ से ऐसा कोई आग्रह भारत को अब तक नहीं मिला है. जबकि बांग्लादेश, अफगानिस्तान, श्रीलंका, म्यांमार, भूटान, नेपाल, मालदीव जैसे पड़ोसी देशों समेत 25 मुल्कों को भारत ने अब तक कोरोना वैक्सीन मुहैया कराए हैं. जबकि 45 अन्य देशों को भी आने वाले दिनों में वैक्सीन भारत से भेजे जाने की तैयारी हो रही है.
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