Mann Ki Baat Highlights: पेरिस ओलंपिक, केरल का छाता, आंध्र की कॉफी... 'मन की बात' में PM मोदी ने की किन विषयों पर चर्चा? यहां जानिए
PM Narendra Modi Mann Ki Baat Highlights: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर महीने के आखिरी रविवार को मन की बात रेडियो कार्यक्रम के जरिए देशवासियों को संबोधित करते हैं.
पीएम मोदी ने कहा कि आज 30 जून को आकाशवाणी का संस्कृत बुलेटिन अपने प्रसारण के 50 साल पूरे कर रहा है. 50 वर्षों से लगातार इस बुलेटिन ने कितने ही लोगों को संस्कृत से जोड़े रखा है. मैं ऑल इंडिया रेडियो परिवार को बधाई देता हूं. उन्होंने बताया कि बेंगलुरू में एक पार्क है- कब्बन पार्क. इस पार्क में यहां के लोगों ने एक नई परंपरा शुरू की है. यहां हफ्ते में एक दिन, हर रविवार बच्चे, युवा और बुजुर्ग आपस में संस्कृत में बात करते हैं.
उन्होंने कहा कि इतना ही नहीं, यहां वाद-विवाद के कई सेशन भी संस्कृत में ही आयोजित किए जाते हैं. इनकी इस पहल का नाम है- संस्कृत वीकेंड. इसकी शुरुआत एक वेबसाइट के जरिए समष्टि गुब्बी जी ने की है. कुछ दिनों पहले ही शुरू हुआ ये प्रयास बेंगलुरूवासियों के बीच देखते ही देखते काफी लोकप्रिय हो गया है. अगर हम सब इस तरह के प्रयास से जुड़ें तो हमें विश्व की इतनी प्राचीन और वैज्ञानिक भाषा से बहुत कुछ सीखने को मिलेगा.
पीएम मोदी ने कहा कि आज 30 जून को आकाशवाणी का संस्कृत बुलेटिन अपने प्रसारण के 50 साल पूरे कर रहा है. 50 वर्षों से लगातार इस बुलेटिन ने कितने ही लोगों को संस्कृत से जोड़े रखा है. मैं ऑल इंडिया रेडियो परिवार को बधाई देता हूं. उन्होंने बताया कि बेंगलुरू में एक पार्क है- कब्बन पार्क. इस पार्क में यहां के लोगों ने एक नई परंपरा शुरू की है. यहां हफ्ते में एक दिन, हर रविवार बच्चे, युवा और बुजुर्ग आपस में संस्कृत में बात करते हैं.
उन्होंने कहा कि इतना ही नहीं, यहां वाद-विवाद के कई सेशन भी संस्कृत में ही आयोजित किए जाते हैं. इनकी इस पहल का नाम है- संस्कृत वीकेंड. इसकी शुरुआत एक वेबसाइट के जरिए समष्टि गुब्बी जी ने की है. कुछ दिनों पहले ही शुरू हुआ ये प्रयास बेंगलुरूवासियों के बीच देखते ही देखते काफी लोकप्रिय हो गया है. अगर हम सब इस तरह के प्रयास से जुड़ें तो हमें विश्व की इतनी प्राचीन और वैज्ञानिक भाषा से बहुत कुछ सीखने को मिलेगा.
पीएम मोदी ने देशवासियों को एक खास कॉफी के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि भारत के कितने ही प्रोडक्ट्स हैं, जिनकी दुनिया-भर में बहुत डिमांड है और जब हम भारत के किसी लोकल प्रोडक्ट को ग्लोबल होते देखते हैं तो गर्व से भर जाना स्वाभाविक है. ऐसा ही एक प्रोडक्ट है अराकु कॉफी. अराकु कॉफी आंध्र प्रदेश के अल्लुरी सीता राम राजू जिले में बड़ी मात्रा में पैदा होती है. ये अपने रिच फ्लेवर और अरोमा के लिए जानी जाती है.
प्रधानमंत्री ने हाल ही में मनाए गए योग दिवस के महत्व को लेकर बात की और उन्होंने बताया कि ये जीवन के लिए कितना जरूरी है. उन्होंने कहा कि इस महीने पुरी दुनिया ने 10वें योग दिवस को भरपूर उत्साह और उमंग के साथ मनाया है. मैं भी जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर में आयोजित योग कार्यक्रम में शामिल हुआ था. कश्मीर में युवाओं के साथ-साथ बहनों-बेटियों ने भी योग दिवस में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया.
पीएम मोदी ने कहा कि तुर्कमेनिस्तान में इस साल मई में वहां के राष्ट्रीय कवि की 300वीं जन्म-जयंती मनाई गई. इस अवसर पर तुर्केमेनिस्तान के राष्ट्रपति ने दुनिया के 24 प्रसिद्ध कवियों की प्रतिमाओं का अनावरण किया. इनमें से एक प्रतिमा गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर जी की भी है. ये गुरुदेव का सम्मान है, भारत का सम्मान है.
उन्होंने कहा कि जून के महीने में दो कैरिबियाई देश सूरीनाम और सेंट विंसेट एंड द ग्रेनेडिनेंस ने अपने इंडियन हेरिटेज को पूरे जोश और उत्साह के साथ मनाया गया. सूरीनाम में हिंदुस्तानी समुदाय हर साल 5 जून को इंडियन एराइवल डे और प्रवासी दिन के रूप मनाता है.
पीएम मोदी ने पेरिस ओलंपिक को लेकर चल रही तैयारियों पर बात की. उन्होंने कहा कि टोक्यो में हमारे खिलाड़ियों के प्रदर्शन ने हर भारतीय का दिल जीत लिया था. अब पेरिस ओलंपिक की तैयारियां चल रही हैं. पेरिस ओलंपिक में कुछ चीजें पहली बार देखने को मिलेंगी.
प्रधानमंत्री ने बताया कि शूटिंग में हमारे खिलाड़ियों की प्रतिभा निखरकर सामने आ रही हैं. टेबल-टेनिस में पुरुष और महिला दोनों टीमें क्वालिफाई कर चुकी हैं. भारतीय शॉटगन टीम में हमारी शूटर बेटियां भी शामिल हैं.
प्रधानमंत्री मोदी ने केरल के कार्थुम्बी छाते के बारे में बात की और बताया कि किस तरह से मानसून आने के बाद लोग इसे ढूंढ रहे हैं. उन्होंने कहा कि हमारे केरल के अट्टापडी में कार्थुम्बी छाते तैयार किए जाते हैं. ये रंग-बिरंगे छाते बहुत शानदार होते हैं. इन छातों को आदिवासी बहनें तैयार करते हैं. आज देशभर में इन छातों की मांग हो रही है. इनकी ऑनलाइन बिक्री भी हो रही है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रेडियो कार्यक्रम में पर्यावरण और पेड़ लगाने को लेकर चर्चा की. उन्होंने कहा कि मैं आपसे पूछूं कि दुनिया का सबसे अनमोल रिश्ता कौन सा होता है तो आप जरूर कहेंगे- मां. हम मां को कुछ दे तो सकते नहीं हैं, लेकिन और कुछ कर सकते हैं क्या? इसी सोच में से इस वर्ष विश्व पर्यावरण दिवस पर एक विशेष अभियान शुरू किया गया है, इस अभियान का नाम है- एक पेड़ मां के नाम. सभी से अपील की गई है कि वे अपनी मां के नाम पर एक पेड़ जरूर लगाएं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रेडियो कार्यक्रम में पर्यावरण और पेड़ लगाने को लेकर चर्चा की. उन्होंने कहा कि मैं आपसे पूछूं कि दुनिया का सबसे अनमोल रिश्ता कौन सा होता है तो आप जरूर कहेंगे- मां. हम मां को कुछ दे तो सकते नहीं हैं, लेकिन और कुछ कर सकते हैं क्या? इसी सोच में से इस वर्ष विश्व पर्यावरण दिवस पर एक विशेष अभियान शुरू किया गया है, इस अभियान का नाम है- एक पेड़ मां के नाम. सभी से अपील की गई है कि वे अपनी मां के नाम पर एक पेड़ जरूर लगाएं.
पीएम मोदी ने कहा कि 30 जून का ये दिन बहुत महत्वपूर्ण है. इस दिन को हमारे आदिवासी भाई-बहन 'हूल दिवस' के तौर पर मनाते हैं. यह दिन वीर सिद्धो-कान्हू के अदस्य साहस से जुड़ा है, जिन्होंने विदेशी शासकों के अत्याचार का पुरजोर विरोध किया था.
उन्होंने कहा कि वीर सिद्धो-कान्हू ने हजारों संथाली साथियों को एकजुट करके अंग्रेजों का जी-जान से मुकाबला किया, और जानते हैं ये कब हुआ था? ये हुआ था 1855 में, यानी ये 1857 में भारत के प्रथम स्वतंत्रता संग्राम से भी दो साल पहले हुआ था, तब झारखंड के संथाल परगना में हमारे आदिवासी भाई-बहनों ने विदेशी शासकों के खिलाफ हथियार उठाया था.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मन की बात रेडियो कार्यक्रम में देशवासियों को संबोधित करते हुए लोकसभा चुनाव को लेकर बात की. उन्होंने कहा कि मैं आज देशवासियों को धन्यवाद करता हूं कि उन्होंने हमारे संविधान और देश की लोकतांत्रिक व्यवस्थाओं पर अपना अटूट विश्वास जताया है. 2024 का चुनाव, दुनिया का सबसे बड़ा चुनाव था. दुनिया के किसी भी देश में इतना बड़ा चुनाव नहीं हुआ, जिसमें 65 करोड़ लोगों ने वोट डाले हैं. मैं चुनाव आयोग और मतदान प्रक्रिया से जुड़े हर एक व्यक्ति को इसकी बधाई देता हूं.
पीएम मोदी ने कहा कि मन की बात के जरिए एक बार फिर से अपने परिवार के बीच आया हूं. एक बड़ी प्यारी कहावत है, 'इति विदा पुनर्मिलनाय'. इसका अर्थ उतना ही प्यारा है. इस लाइन का मतलब है कि मैं विदा लेता हूं फिर मिलने के लिए. मैंने फरवरी में कहा था कि मैं चुनाव के चलते आपसे बात नहीं कर पाऊंगा. चुनाव संपन्न होने के बाद एक बार फिर से मैं आपके बीच आ गया हूं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चार महीने बाद पहली बार मन की बात रेडियो प्रोग्राम के जरिए देशवासियों को संबोधित करने वाले हैं. वह हर महीने के आखिरी रविवार को ये रेडियो कार्यक्रम करते हैं.
बैकग्राउंड
Mann Ki Baat Highlights: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार (30 जून) को 'मन की बात' रेडियो कार्यक्रम के जरिए देशवासियों को संबोधित किया. तीन महीने तक चले लोकसभा चुनाव और फिर शपथ ग्रहण के चलते पीएम मोदी अपने इस रेडियो कार्यक्रम में हिस्सा नहीं ले रहे थे. हालांकि, अब चुनाव खत्म हो चुके हैं और पीएम मोदी इस रेडियो कार्यक्रम के जरिए देशवासियों को संबोधित किया. रविवार (30 जून) को मन की बात रेडियो कार्यक्रम का 111वां एपिसोड था.
पीएम मोदी मन की बात रेडियो कार्यक्रम में देशहित से जुड़े मुद्दों पर बात की. इसमें उन्होंने योग को लेकर चर्चा की. प्रधानमंत्री मोदी ने 18 जून को ऐलान किया था कि 30 जून से एक बार फिर से देशवासियों को मन की बात रेडियो कार्यक्रम सुनने का मौका मिलने वाला है. उन्होंने लोगों से अपील की कि वे MyGov Open Forum और नमो ऐप पर अपने आइडियाज भेज सकते हैं, जिस पर मन की बात रेडियो कार्यक्रम में बात की जाएगी.
प्रधामनंत्री नरेंद्र मोदी ने आखिरी बार मन की बात रेडियो कार्यक्रम में 25 फरवरी को हिस्सा लिया था. इसके बाद लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए इसे रोक दिया गया. पीएम मोदी ने 110वें एपिसोड में देशवासियों को बताया था कि मन की बात रेडियो कार्यक्रम लोकसभा चुनाव के मद्देनजर अगले तीन महीने तक ब्रॉडकास्ट नहीं होने वाला है. लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान मार्च में हुआ था और अप्रैल मई में चुनाव करवाए गए. नतीजों का ऐलान 4 जून को किया गया, जिसके बाद 9 जून को पीएम मोदी ने शपथ ली.
मन की बात रेडियो कार्यक्रम की शुरुआत 3 अक्टूबर, 2014 को हुई थी. इसका मकसद समाज के हर तबके तक अपनी बातों को पहुंचाना है. 22 भारतीय भाषाओं और 29 बोलियों में प्रसारित होने के अलावा, 'मन की बात' फ्रेंच, चीनी, इंडोनेशियाई, तिब्बती, बर्मी, बलूची, अरबी, पश्तू, फारसी, दारी और स्वाहिली जैसी 11 विदेशी भाषाओं में भी प्रसारित किया जाता है. यह कार्यक्रम ऑल इंडिया रेडियो के 500 से अधिक प्रसारण केंद्रों के माध्यम से दर्शकों तक पहुंचता है. मन की बात रेडियो कार्यक्रम से जुड़े सभी अपडेट्स आप नीचे दिए गए कार्ड में पढ़ सकते हैं.
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