हैमबर्ग: भारत से भागे शराब कारोबारी विजय माल्या और IPL के पूर्व प्रमुख ललित मोदी को देश वापस लाने के लिए कड़ी कवायद की जा रही है. इसी कवायद के बीच प्रधानमंत्री मोदी ने ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरीजा मे से अपील की है. मोदी ने टेरीजा से कहा, भारत में आथर्कि अपराध के मामलों में ब्रिटेन भागे भारतीय नागरिकों को वापस लाने में अपने देश का सहयोग सुनिश्चित करें.


माल्या पिछले कई महीनों से ब्रिटेन में रह रहा है
विलय माल्या पिछले कई महीनों से ब्रिटेन में रह रहा है, उसके खिलाफ गिरफ्तारी वॉरंट जारी है. ब्रिटेन से उसको भारत भेजने के मामले में लंदन की एक अदालत में सुनवाई भी चल रही है. मोदी की जी20 शिखर सम्मेलन के दौरान ब्रिटेन की प्रधानमंत्री के साथ अलग से बैठक हुई. इस बैठक में भगोड़े अभियुक्तों को भारत को सौंपने के मामलों में ब्रिटेन की मदद मांगी गई. दोनों नेताओं ने विभिन्न क्षेत्रों में भारत और ब्रिटेन के संबंधों पर चर्चा की.


विदेश मंत्रालय ने दी जानकारी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने बैठक के बाद ट्वीट में कहा कि, प्रधानमंत्री ने  भागे हुये भारतीय आथर्कि अपराधियों को लौटाने में ब्रिटेन के सहयोग के लिये कहा.  यह पूछे जाने पर कि क्या यह अनुरोध केवल माल्या के मामले तक सीमित था या इसमें ललित मोदी का भी उल्लेख किया गया तो बागले का जवाब था , मैं विवरण में नहीं पड़ना चाहता पर ट्वीट में जो शब्दावली प्रयोग की गयी है, उसमें भाग कर गए आथर्कि अपराधियों का उल्लेख है और यह बहुवचन में है. किंगफिशर एयरलाइंस के 9,000 करोड़ रुपये के कर्ज को नहीं लाटाये जाने से जुड़े मामले में माल्या की भारत में तलाश है. वह मार्च 2016 से ही ब्रिटेन में हैं.





क्या है  प्रत्यर्पण संधि ?
भारत और ब्रिटेन के बीच प्रत्यर्पण संधि है जिसपर 1992 में हस्ताक्षर किये गये. हालांकि इस संधि के तहत अब तक केवल एक प्रत्यर्पण ही हो पाया है. संधि के तहत समीरभाई वीनूभाई पटेल को पिछले साल अक्तूबर में भारत को लौटा दिया गया, ताकि उस पर 2002 में गुजरात में गोधरा कांड के बाद के दंगों के मामले में मुकदमा चलाया जा सके.