PM Modi Speech: जानें क्या है 'समोसा कॉकस', US Congress में पीएम मोदी ने किया जिक्र तो जमकर बजी तालियां
PM Modi Speech: पीएम मोदी ने अमेरिकी कांग्रेस के संयुक्त सदन को दूसरी बार संबोधित किया. ऐसा करने वाले वह भारत के पहले पीएम और चुनिदा ग्लोबल लीडर के क्लब का हिस्सा बन गए हैं.
PM Modi Speech At US Congress: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिका दौरे के दूसरे दिन गुरुवार (22 जून) को यूएस कांग्रेस (US Congress) के संयुक्त सत्र को संबोधित किया. पीएम मोदी ने दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक रिश्तों का जिक्र करते हुए कहा कहा कि लाखों अमेरिकी लोगों की जड़ें भारत में रहीं हैं. इस दौरान पीएम मोदी ने हाउस में समोसा कॉकस का जिक्र किया तो हाउस तालियों की आवाज से गूंज उठा.
पीएम मोदी ने जब अमेरिका की उपराष्ट्रपति कमला हैरिस की उपलब्धियों का जिक्र किया तो सदन में लोगों ने खड़े होकर तालियां बजाईं. पीएम मोदी ने कहा, अमेरिका में लाखों लोगों की जड़ें भारत में रही हैं और उनमें से कुछ आज सदन का हिस्सा हैं. कमला हैरिस की तरफ इशारा करते हुए पीएम ने कहा, उनमें से एक पीछे बैठी हुई हैं, जिन्होंने इतिहास रच दिया है.
पीएम मोदी ने आगे कहा, मुझे बताया गया है कि समोसा कॉकस अब सदन का हिस्सा है. मुझे उम्मीद है कि यह बढ़ेगा और भारतीय व्यंजनों की पूरी विविधता लाएगा. पीएम मोदी के ये कहने पर सदन देर तक तालियों की आवाज से गूंजता रहा.
कमला हैरिस का भारतीय कनेक्शन
अमेरिका की उप-राष्ट्रपति कमला हैरिस भारतीय मूल की हैं. कमला हैरिस की मां श्यामला गोपालन 1960 के दशक में भारत के चेन्नई से अमेरिका गई थीं, जहां उन्होंने जमैकाई मूल के डोनाल्ड जे हैरिस से शादी की थी. कमला हैरिस अक्सर अपने भारतीय मूल की विरासत और इससे जुड़ाव का जिक्र करती रही हैं.
2020 में अमेरिका के उपराष्ट्रपति के रूप में जीत हासिल कर कमला हैरिस ने इतिहास रच दिया था. वह इस पद पर पहुंचने वाले भारतीय मूल की पहली व्यक्ति के साथ ही पहली महिला, पहली अफ्रीकी-अमेरिकन महिला भी थीं.
क्या है समोसा कॉकस ?
समोसा कॉकस पहली बार 2016 में चर्चा हुई थी, जब पहली बार अमेरिकी संसद में 5 भारतीय मूल के सांसद चुने गए थे. ये सदस्य अक्सर एक दूसरे से मुलाकात करते थे. अमेरिका के हाउस ऑफ रिप्रजेंटेटिव के सदस्य राजा कृष्णमूर्ति भी इनमें से थे, जिन्होंने इस क्लब को समोसा कॉकस नाम दिया था. इसका उपयोग अब अमेरिकी राजनीतिक परिदृश्य में दक्षिण एशियाई मूल के व्यक्तियों के बढ़ते प्रतिनिधित्व का वर्णन करने के लिए किया जाता है.
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