Presidential Election 2022: सीएम योगी के नेतृत्व में द्रौपदी मुर्मू की जीत सुनिश्चित करेगा यूपी, जानिए क्या है गणित
NDA ने ओडिशा की आदिवासी नेता और झारखंड की पूर्व राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया है. जबकि विपक्ष ने पूर्व वित्तमंत्री और बीजेपी नेता यशवंत सिन्हा पर दांव खेला है.
Presidential Election 2022: देश की राजनीतिक तकदीर और तस्वीर तय करने वाला उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) के नेतृत्व में राष्ट्रपति के चुनाव (Presidential Election) में भी अहम भूमिका निभाएगा. राष्ट्रपति चुनाव को लेकर विपक्ष की गोलबंदी यूपी में कारगर साबित नहीं होगी. राष्ट्रपति के पद के लिए भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन ( NDA) की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू (Droupadi Murmu) को जिताने के लिए यूपी से ही सबसे अधिक वोट मिलेंगे.
इसकी वजह है, देश भर के मतदाता जन प्रतिनिधियों के कुल वोट 10,86,431 का 14.86 प्रतिशत हिस्सा यूपी के पास होना. इस कारण बहुजन समाज पार्टी, समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के विरोध के बाद भी द्रोपदी मुर्मू को 1,19,084 वोट की बढ़त यूपी से हासिल हो जाएगी, जो NDA उम्मीदवार की जीत का आधार बनेगी.
यशवंत सिन्हा हैं विपक्ष के उम्मीदवार
अगले महीने होने वाले राष्ट्रपति चुनाव को लेकर अब पूरी तस्वीर साफ हो गई है. NDA ने ओडिशा की आदिवासी नेता और झारखंड की पूर्व राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित किया है. जबकि विपक्ष ने पूर्व वित्तमंत्री और बीजेपी के पुराने नेता यशवंत सिन्हा पर दांव खेला है. अब राष्ट्रपति चुनावों को लेकर राज्यों से मिलने वाले वोटों के गणित को देखें तो द्रौपदी मुर्मू के सामने यशवंत सिन्हा कमजोर दिखाई दे रहे हैं. वोट पड़ने के पहले ही चुनावी गणित के लिहाज से वह रेस से बाहर होते दिख रहे हैं.
द्रौपदी मुर्मू की जीत का क्या है गणित
बीजेपी के वरिष्ठ नेता विजय पाठक के अनुसार, NDA उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू की जीत तय है. पाठक इसका गणित समझाते हैं. उनके मुताबिक राष्ट्रपति चुनाव में सभी राज्यों के लोकसभा और राज्यसभा सदस्यों के वोट का मूल्य बराबर है, जो कि 700 है. वहीं विधायकों के वोट का मूल्य आबादी की गणना के अनुसार तय होता है. इस गणित के आधार पर NDA के पास अभी कुल 5,26,420 मत हैं.
राष्ट्रपति चुनाव जीतने के लिए मुर्मू को 5,39,420 मतों की जरूरत है. अगर चुनावी समीकरणों को देखें तो ओडिशा से आने के कारण सीधे तौर पर मुर्मू को बीजू जनता दल का समर्थन मिल रहा है. यानी बीजेडी के 31,000 वोट भी उनके पक्ष में पड़ेंगे. ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक पहले ही द्रौपदी मुर्मू को समर्थन दे चुके हैं. इसके अलावा अगर वाईएसआर कांग्रेस भी साथ आती है तो उसके भी 43,000 मत उनके साथ होंगे. इसके अलावा आदिवासी के नाम पर राजनीति करने वाली झारखंड मुक्ति मोर्चा के लिए मुर्मू का विरोध करना मुश्किल है. JMM दबाव में आई तो मुर्मू को करीब 20000 वोट और मिल जाएंगे.
समाजवादी पार्टी के पास हैं कितने विधायक?
अब आते हैं यूपी पर इस राज्य के विधायकों के वोट का मूल्य 208 है. यहां 80 लोकसभा सदस्य, 31 राज्यसभा सदस्य और 403 विधायक हैं. इस तरह लोकसभा सदस्यों के मतों का कुल मूल्य 56,000 होता है. लोकसभा सदस्यों में सर्वाधिक 62 सांसद बीजेपी के हैं. बीएसपी के पास 10 समाजवादी पार्टी के पास 3 और कांग्रेस के पास सिर्फ एक सांसद है. इसी प्रकार राज्यसभा की 31 सीटों का कुल मूल्य 21,700 होता है. जिसमें 25 सीटों के साथ बीजेपी सबसे आगे है. समाजवादी पार्टी के पास 5 और बसपा के पास एक सांसद है. इसी तरह से विधायकों के वोटों की संख्या भी सबसे अधिक बीजेपी के पास है.
यूपी में हैं कितने समाजवादी विधायक?
यूपी के 403 विधायकों के वोट का मूल्य 83,824 होता है. इसमें से बीजेपी गठबंधन (BJP alliance) के 273 वोट का मूल्य 56,784 होता है. 125 विधायकों वाले समाजवादी पार्टी गठबंधन के मतों का मूल्य 26,000 है. कांग्रेस और जनसत्ता दल के दो दो विधायक हैं और बीएसपी (BSP) का एक विधायक है. इस आधार पर मतों का गणित देखें तो द्रौपदी मुर्मू को यूपी से 1,19,084 मतों की बढ़त मिलेगी. जबकि समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के 32,716 मत मूल्य जरूर विपक्ष के प्रत्याशी यशवंत सिन्हा को मिलेंगे. इस वोट गणित के आधार पर यूपी NDA उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू (Droupadi Murmu) की जीत को सुनिश्चित करेगा.
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