Indra Meghwal Death: राजस्थान (Rajashthan) के जालोर (Jalosr) में 9 साल के दलित छात्र को उसके शिक्षक (Teacher) ने बेरहमी से पीटा और जातिवादी मानसिकता से उसकी जान ले ली. इंद्र मेघवाल (Indra Meghwal) ने अपने शिक्षक के घड़े से पानी पिया, जिसके बाद इंद्र को शिक्षक ने बेरहमी से पीटा और उसे बुरी तरह से घायल कर दिया. घायल होने के बाद इंद्र की जान बचाने को बेहद कोशिश भी की गई लेकिन अंत में इंद्र जातिवाद का शिकार हो गया. इस घटना के विरोध में आज मुंबई विश्वविद्यालय (Mumbai University) में कई छात्रों ने इंद्र मेघवाल को न्याय दिलाने की मांग की और विरोध प्रदर्शन (Protest) किया.
विरोध प्रदर्शन मटकों और पोस्टर्स के जरिए किया गया हैं. जहां जाति के अनुसार मटके रखे गए हैं और पोस्टर्स में बताया गया कि आजादी के अमृत महोत्सव के दौरान कई लोग जातिवाद का आज भी शिकार हो रहे हैं. कुछ छात्रों से एबीपी न्यूज ने बात की, छात्रों ने कहा कि आज भी देश जातिवाद और मनुवाद जैसी सोच से गुजर रहा है. जहां 9 साल के बच्चे को क्या पता के ऊंची जाति के घड़े से पाना पीना उसके लिए जानलेवा हो सकता है. आज इसी के लिए युवा संघ और संयुक्त विद्यार्थी संगठन मिल कर मुंबई विश्वविद्यालय में विरोध प्रदर्शन कर रहा है. हमारी मांग हैं के ऐसे लोगों को सजा दी जाए.
जातिवाद को लेकर विरोध प्रदर्शन
विरोध प्रर्दशन (Protest) में जो लोग पहले जातिवाद (Casteism) के शिकार हो चुके हैं उनका भी जिक्र किया गया, जैसे डॉक्टर पायल (Doctor Payal) मुंबई नायर अस्पताल (Nayar Hospital) में जातिवाद की शिकार हुई. वहीं, दिल्ली (Delhi) के जेएनयू (JNU) का रोहित (Rohit) का भी जिक्र किया गया है. कई छात्रों से जब पूछा के यह आंदोलन मुंबई विश्वविद्यालय (Mumbai University) में ही क्यों किया जा रहा हैं तो छात्रों ने बताया के जिस तरह से इंद्र (Indra Meghwal) भी एक विद्यार्थी (Student) था उसी तरह से हम भी मुंबई विश्वविद्यालय के छात्र हैं और देश में आज युवाओं (Youth) का जागना बेहद जरूरी हैं जहां अन्याय होगा वहां युवा अन्याय के खिलाफ खड़े होंगे.
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