Navjot Sidhu met CM Amrinder Singh: पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू और राज्य के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के बीच मंगलवार की दोपहर को बैठक हुई. इस बैठक के बाद नवजोत सिद्धू ने ट्वीट करते हुए कहा- “पंजाब की जनता से जुड़े लंबे समय से चले आ रहे मुद्दों पर फौरन कार्रवाई की मांग को लेकर पंजाब के मुख्यमंत्री से मिले... पंजाब भर से आए लाखों कांग्रेसी कार्यकर्ताओं के जज्बे की गूंज!! ”
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष की कमान संभालने के बाद नवजोत सिद्धू और अमरिंदर सिंह के बीच यह पहली आधिकारिक बैठक चंडीगढ़ स्थित पंजाब सचिवालय में दोपहर साढ़े तीन बजे शुरू हुई. मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह इस बैठक में शामिल होने के लिए सिसवां फॉर्म हाउस से सचिवालय पहुंचे थे. गौरतलब है कि इससे पहले जिस दिन नवजोत सिद्धू ने अध्यक्ष पद की कमान संभाली थी, उस दिन आयोजित कार्यक्रम में सीएम अमरिंदर सिंह भी पहुंचे थे.
इससे पहले, लगातार पंजाब कांग्रेस में सियासी खिंचतान की खबर मीडिया की सुर्खियों में रही. अमरिंदर सिंह की मर्जी के खिलाफ नवजोत सिंह सिद्धू को पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष की कमान सौंपी गई थी. पंजाब विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी को मजबूत करने की दिशा में कांग्रेस के इस कदम को बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है.
इधर, पाकिस्तान सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (पीएसजीपीसी) ने पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष बनने पर नवजोत सिंह सिद्धू को बधाई दी है. पीएसजीपीसी ने सोशल मीडिया के जरिए सिद्धू को बधाई देते हुए यह भी कहा कि यह दुनियाभर के सिखों के लिए गर्व का क्षण है. इसके साथ ही पीएसजीपीसी ने उनसे करतारपुर कॉरिडोर को फिर से खुलवाने में भूमिका अदा करने का आग्रह किया.
इसके बाद सिद्धू विपक्षी दलों के निशाने पर आए गए और शिरोमणि अकाली दल, बीजेपी ने उन पर जुबानी हमला बोला. बीजेपी के पंजाब अध्यक्ष अश्विनी शर्मा ने आरोप लगाया कि सिद्धू ने खुद यह स्क्रिप्ट लिखी है. उन्होनें कहा कि कॉरिडोर को खोलने का फैसला केंद्र सरकार करेगी और इसमें सिद्धू की कोई भूमिका नहीं है. यह दोनों देश के बीच का मसला है.
गौरतलब है कि सिद्धू के पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष के ताजपोशी समारोह के दौरान पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने पाकिस्तान को बड़ा खतरा बताया था. यह समारोह 23 जुलाई को हुआ था. कैप्टन ने कहा था पंजाब की करीब 600 किमी सीमा पाकिस्तान से लगती है और हमें सिक्योरिटी का ध्यान रखना है.