नई दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने नोटबंदी और पूजीपतियों की कथित कर्जमाफी को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि मोदी के भारत में आम आदमी और पूंजीपतियों के लिए नोटबंदी का अलग मतलब है. उन्होंने कहा, ''आम आदमी के लिए नोटबंदी- अपना पैसा रखने के लिए कतारों में खड़ा होना पड़ता है. हमारा पूरा ब्यौरा आधार के रूप में जमा है. आप अपने ही पैसे का इस्तेमाल का नहीं कर सकते.''
राहुल गांधी ने एक खबर साझा करते हुए कहा, ''क्रोनी कैपिटलिस्ट (सांठगांठ वाले पूंजीवादी) के लिए नोटबंदी- उन्होंने पूरे कालेधन को सफेद कर लिया. आम आदमी के पैसे का इस्तेमाल करके 3.16 लाख करोड़ रुपये को बट्टे खाते डाल दिया जाता है.''
राहुल गांधी ने जो ट्विटर पर शेयर की है उसके मुताबिक, पिछले चार सालों में सरकारी बैंकों ने 3.16 लाख करोड़ रुपये का कर्ज बट्टे खाते में डाले, जबकि इसी अवधि में 44,900 करोड़ रुपये के कर्ज की वसूली हो सकी.
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कांग्रेस ने सोमवार को नरेंद्र मोदी सरकार पर कर्ज की अदायगी नहीं करने वालों (बैंक डिफाल्टर्स) पर 'कृपा' करने का आरोप लगाया और सोमवार को दावा किया कि इस सरकार ने पिछले चार सालों में में तीन लाख करोड़ रुपये से अधिक का कर्ज बट्टे खाते में डाल दिया.
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, ''सरकारी बैंकों में जमा जनता के पैसे से 3.16 लाख करोड़ रुपये का कर्ज बट्टे खाते में डाल दिया, जबकि 14 फीसदी कर की वसूली हो सकी और मोदी कृपा से डिफाल्टर्स को बचने का अवसर मिला.''
उन्होंने भगोड़े कारोबारी विजय माल्या से जुड़ी एक खबर शेयर करते हुए कहा, ''माल्या की लूट बरकरार है. क्या फोर्स इंडिया सेल (फार्मूला वन टीम) में 13 बैंकों ने 380 करोड़ रुपये गवां दिए?''
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