Electoral Bonds Scheme: कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने चुनावी बॉन्ड योजना और किसान आंदोलन को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि देश नहीं बिकने देने का नारा देने वाले हर संसाधन बेचने को तैयार हैं.
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार (15 फरवरी, 2024) को सोशल मीडिया एक्स पर लिखा, ''सस्ते में एयरपोर्ट बेचो, इलेक्टोरल बॉन्ड लो. सस्ते में माईन्स बेचो, इलेक्टोरल बॉन्ड लो. सस्ते में ज़मीन बेचो, इलेक्टोरल बॉन्ड लो.''
उन्होंने आगे कहा, ''मैं देश नहीं बिकने दूंगा का नारा देने वाले नरेंद्र मोदी चुनावी चंदे के लिए देश का हर संसाधन बेचने को तैयार हैं. मगर किसान अपनी फसल पर न्यूनतम समर्थन मूल्य भी न मांगे, क्योंकि किसान इलेक्टोरल बॉन्ड नहीं देता है. अजीब विडंबना है.''
दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने चुनावी बॉन्ड योजना को निरस्त कर दिया. वहीं किसान फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी के लिए कानून बनाने सहित विभिन्न मांगों को लेकर पंजाब और हरियाणा के बॉर्डर पर डटे हुए हैं.
सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?
सीजेआई डीवाई. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पांच-सदस्यीय संविधान पीठ ने 2018 की चुनावी बॉन्ड योजना को भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता एवं सूचना के संवैधानिक अधिकारों का 'उल्लंघन' बताया. कोर्ट केंद्र की इस दलील से सहमत नहीं थी कि इस योजना का उद्देश्य राजनीतिक चंदे में पारदर्शिता लाना और काले धन पर अंकुश लगाना था. कोर्ट ने ये फैसला ऐसे समय पर सुनाया है जब अप्रैल- मई में लोकसभा चुनाव होने की संभावना है.
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