रेलवे का दीवाली तोहफाः 15 ट्रेनों से फलेक्सी फ़ेयर पूरी तरह खत्म, 32 ट्रेनों की स्कीम में बदलाव
कम मांग वाले मौसम में, जब टिकट बुकिंग 50 से 75 फीसदी तक घट जाती है, ऐसी 32 गाड़ियों में फ्लैक्सी किराया योजना लागू नहीं होगी.
नई दिल्लीः त्यौहारों के मौके पर रेलवे ने यात्रियों को राहत देते हुये सालभर में 50 फीसदी से कम बुकिंग वाली 15 प्रीमियम रेलगाड़ियों पर से फ्लैक्सी किराया स्कीम को खत्म कर दिया है. कम मांग वाले मौसम में, जब टिकट बुकिंग 50 से 75 फीसदी तक घट जाती है, ऐसी 32 गाड़ियों में फ्लैक्सी किराया योजना लागू नहीं होगी.
अधिकतम किराए की लिमिट भी घटाई रेल मंत्री पीयूष गोयल ने बुधवार को कहा कि रेलवे ने 101 ट्रेनों में फ्लैक्सी किराये की दर को बेस प्राइस के 1.5 गुना के बजाय 1.4 गुना कर दिया है. अधिकतम स्लैब 1.5 गुना से घटकर 1.4 गुना कर दिया गया है यानी जिन टिकटों पर अधिकतम किराया बेस प्राइस से 1.5 गुना तक जाता था वो लीन पीरियड में कम होकर 1.4 गुना तक ही जाएगा.
सीएजी की रिपोर्ट के बाद उठाया कदम रेलवे की ओर से यह कदम जुलाई में आई सीएजी की रिपोर्ट के बाद उठाया गया है. रिपोर्ट में कहा गया कि सितंबर 2016 में योजना के लागू होने के बाद से सीटें खाली रह जाती है. साथ ही फ्लैक्सी किराए को तर्कसंगत बनाने का सुझाव दिया था.
किन-किन ट्रेनों में हुआ है बदलाव 32 ट्रेनों ( शताब्दी, दूरंतो और राजधानी) से लीन पीरियड (फरवरी, मार्च और अगस्त ) में फलेक्सी फ़ेयर हटाया गया है. लीन पीरियड यानी कम भीड़भाड़ वाले सीजन के लिए 32 ट्रेनों के लिए फ्लेक्सी फेयर स्कीम में बदलाव किया है. कम सीटें भरने के कारण जिन रेलगाड़ियों से फ्लैक्सी किराया योजना को हटाया जायेगा उनमें कालका-नयी दिल्ली शताब्दी, हावड़ा-पुरी राजधानी, चेन्नई-मदुरै दुरंतो शामिल है.
जिन ट्रेनों में कम मांग अवधि के दौरान फ्लैक्सी किराया लागू नहीं होगा, उनमें- अमृतसर शताब्दी, इंदौर दुरंतो, जयपुर दुरंतो, बिलासपुर राजधानी, काठगोदाम-आनंदविहार शताब्दी, रांची राजधानी सहित अन्य शामिल हैं.
रेलवे ने फ्लेक्सी फेअर योजना की समीक्षा के बाद ये बदलाव हुए •पिछले साल जिन ट्रेनों में यात्रियों की औसत मासिक संख्या 50 फीसदी से कम थी उनमें फ्लेक्सी फेअर खत्म कर दिया गया है. •पिछले साल कम भीड़भाड़ वाले तीन महीनों में जिन ट्रेनों में यात्रियों की टिकट बुकिंग की औसत मासिक संख्या 50-75 फीसदी रही उन 32 ट्रेनों में फ्लेक्सी फेअर खत्म कर दिया गया है. •सभी क्लास में अधिकतम वर्तमान सीमा 1.5 गुना से कम कर 1.4 गुना कर दी गई है. •उन ट्रेनों में जिनमें क्लास वाले (2एसी, 3एसी, स्लीपर क्लास आदि) यात्रियों की संख्या कम है और हमसफर ट्रेनें जिनमें एक विशेष श्रेणी में यात्रियों की संख्या 60 फीसदी से कम है (ट्रेन के निर्धारित समय पर रवाना होने से 4 दिन पहले), फ्लेक्सी फेअर के साथ सभी ट्रेनों पर अंतिम किराये पर 20 फीसदी की सिलसिलेवार छूट दी जाएगी. साथ ही यहां बताए गए टिकटों के भरने के अनुसार 10 फीसदी छूट दी जाएगी
70 फीसदी टिकटों की बुकिंग तक: आखिरी किराये पर 20 फीसदी 70 से 80 टिकटों की बुकिंग तक: आखिरी किराये पर 10 फीसदी 80 फीसदी से ज्यादा टिकटों की बुकिंग तक: लागू नहीं
रेलवे को 103 करोड़ रुपये का नुकसान रेलवे के सूत्रों ने कहा कि योजना में बदलाव से रेलवे को करीब 103 करोड़ रुपये का नुकसान होगा. हालांकि, उसने उम्मीद जतायी है कि किराया कम होने से सीटें भरने में मदद मिलेगी और अतिरिक्त रेवेन्यू हासिल होगा.
क्या है फ्लेक्सी फेयर
भारतीय रेल ने 9 सितंबर 2016 को प्रीमियम रेलगाड़ियों के लिये फ्लैक्सी फेयर योजना पेश की थी. इनमें 44 राजधानी, 52 दुरंतो और 46 शताब्दी गाड़ियां शामिल थी. फ्लेक्सी फेयर सिस्टम में जैसे जैसे ट्रेनों में सीटें भरती जाती हैं उनके किराए में इजाफा होता जाता है. इस तरह से ये एयरलाइन किरायों की तरह टिकटों की बुकिंग के आधार पर डायनामिक या फ्लेक्सी फेयर लागू होते हैं. इनमें अलग-अलग क्लास के लिए अलग-अलग नियम हैं.
As a gift to passengers this festive season, Railways has decided to reduce Flexi Fares from 1.5 to 1.4 times the base ticket fare, and to completely remove Flexi Fares from trains with less than 50% occupancy.
— Piyush Goyal (@PiyushGoyal) October 31, 2018
रेल मंत्री का ट्वीट रेल मंत्री ने ट्वीट में कहा, "त्यौहार पर रेल यात्रियों के लिए सरकार का तोहफा, रेलवे ने फ्लेक्सी फेयर को मूल किराये के अधिकतम 1.5 गुना से घटाकर 1.4 गुना करने का फैसला किया है, साथ ही 50 फीसदी से कम बुकिंग होने वाली ट्रेनों पर फ्लैक्सी किराया को पूरी तरह से हटा दिया जाएगा.
उन्होंने कहा, "यह यात्रियों और रेलवे दोनों के लिये फायदेमंद है. फ्लैक्सी किराये में कमी से यात्रियों को सस्ती दरों पर टिकट मिलेंगी जबकि रेलगाड़ियों की सीटें की मांग में वृद्धि होगी."