Lakhimpur Kheri Violence: लखीमपुर खीरी में किसानों और प्रशासन के बीच सुलह कराने में भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैट (Rakesh Tikait) की अहम भूमिका रही है. एबीपी न्यूज़ से बातचीत में उन्होंने कहा कि जिनके खिलाफ एफआईआर हुई है उनकी गिरफ्तारी और केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा का इस्तीफा हमारी मांग है. सरकार के पास आठ दिनों का समय है. इसके बाद हम अपना फैसला लेंगे.


क्या आपने किसानों का पक्ष मजबूती से नहीं रखा?


इस सवाल पर उन्होंने कहा कि इसमें तीन तरह की टीम थी. उनका परिवार था, उनके रिश्तेदार थे और ये सारी लोकल टीम थी. हम भी उन तीन में शामिल थे.


क्या सारे समझौते और बातें लिखित में मिल रही हैं?


राकेश टिकैत ने कहा कि पीड़ित के परिजानों के खाते में पैसे ट्रांसफर हो रहे हैं. नौकरी की बात सरकार ने कही है. गिरफ्तारी और जांच का मामला बाकी रह गया है. अगर आठ दिनों में गिरफ्तारी नहीं हुई तो हम आगे का फैसला लेंगे.


इससे पहले भी की थी गिरफ्तारी की मांग


इससे पहले भी उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा था, “लखीमपुर खीरी में फैसला आंदोलन की समाप्ति नही है. सरकार से मंत्री को बर्खास्त कर मंत्री व उनके बेटे को तुरन्त गिरफ्तार किया जाय. सरकार को तयसीमा में अपने वादे पूरे करे.”


Lakhimpur Kheri Violence: क्या लखीमपुर खीरी में भी हाथरस जैसी गलती हो गई?


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