नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली समेत देश के सभी अहम शहरों में पीने के पानी की गुणवत्ता तय करने को लेकर सरकार अब गंभीर हो गई है. गुणवत्ता का पता लगाने के लिए भारतीय मानक ब्यूरो ने सभी घोषित 100 स्मार्ट शहरों और राज्य की राजधानियों से पानी के नमूने इकठ्ठा करने का काम शुरू किया है.
रैंकिंग जारी की जाएगी
केंद्रीय खाद्य और उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान ने कहा कि भारतीय मानक ब्यूरो ( BIS ) इन सभी शहरों से नमूने इकठ्ठा कर इनकी जांच करेगा. जांच के बाद जो परिणाम आएंगे उसके आधार पर पीने के पानी की गुणवत्ता के मामले में सभी शहरों की एक रैंकिंग जारी किए जाएगी. पासवान ने गुरुवार को अपने मंत्रालय के अधिकारियों के अलावा दिल्ली जल बोर्ड , भारतीय मानक ब्यूरो , एनडीएमसी और जलशक्ति मंत्रालय के अधिकारियों की एक बैठक बुलाई थी. बैठक में देशभर में पीने के पानी की गुणवत्ता को लेकर तो चर्चा हुई ही लेकिन दिल्ली में पीने के पानी की शुद्धता का मसला सबसे ऊपर रहा.
दिल्ली का पानी पीने लायक नहीं : मानक ब्यूरो
बैठक के बाद भारतीय मानक ब्यूरो ने दिल्ली में पीने के पानी को मानक से कमतर करार दिया. ब्यूरो के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि दिल्ली का पानी कई कसौटियों पर खरा नहीं उतर पाया. इनमें पानी का गंध , पीएच फैक्टर आदि मानक शामिल हैं . ब्यूरो ने हाल ही में दिल्ली के 11 अलग अलग इलाकों से पानी इकठ्ठा कर उन्हें जांच के लिए भेजा था. इन नमूनों की जांच के बाद ये खुलासा किया गया है.
आमने सामने आए केंद्र के ही दो मंत्री
दरअसल दिल्ली में पीने के पानी की गुणवत्ता को लेकर पिछले कई दिनों से बहस चल रही है. बहस की शुरुआत खुद रामविलास पासवान ने ये कहकर किया कि दिल्ली का पानी पीने लायक नहीं है. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पासवान में इस दावे को ख़ारिज कर दिया. इस मसले पर मोदी सरकार के दो मंत्री ही आमने सामने आ गए जब जलशक्ति मंत्री गजेंद्र शेखावत ने भी पासवान की बात को नकारते हुए दिल्ली के पानी को यूरोपीय मानकों से भी ज़्यादा शुद्ध बता दिया. अब पासवान ने पलटवार करते हुए कहा - " उनको ( शेखावत जी को शायद जानकारी नही है कि ये उनका क्षेत्र है ही नहीं .... उनका काम पीने के पानी को घर घर तक पहुंचना ना कि उसकी गुणवत्ता तय करना ".
आज की बैठक में इस बात पर सहमति बनी कि दिल्ली जल बोर्ड और मानक ब्यूरो ( BIS ) के अधिकारी संयुक्त रूप से पानी के नमूने इकठ्ठा करेंगे. दिल्ली नगर निगम के अंदर आने वाले इलाकों में दिल्ली जल बोर्ड ही पानी की सप्लाई करता है. जल बोर्ड दिल्ली सरकार के अंदर आता है और दिल्ली का मुख्यमंत्री इसका पदेन अध्यक्ष होता है.
पीने के पानी का मानक तय हो
बैठक में इस बात को लेकर सहमति बनी कि देशभर में पीने के पानी का मानक तैयार होना चाहिए जिसका पालन हो. फिलहाल पाइप के जरिए सप्लाई होने वाले पानी का मानक तो तय है लेकिन इसे लागू करना अभी बाध्यकारी नहीं है.इसे बाध्यकारी बनाने पर सबकी सहमति बन गई है । सभी राज्य सरकारों को पत्र लिखकर उनका विचार मांगा जा रहा है.
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