एक्सप्लोरर

…तो इस वजह से अटल बिहारी वाजपेयी ने त्याग दिया था अपना जनेऊ

अपने पहले भाषण के संदर्भ में अटल बिहारी वाजपेयी स्वयं बताते थे कि –हां, बहुत डर लगा. जब मैं पहली बार भाषण देने के लिए खड़ा हुआ. तब मैं बड़नगर में था. मेरे पिताजी हेडमास्टर थे.

नई दिल्ली: ‘भारत रत्न’ और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की हालत बेहद नाजुक बनी हुई है. पूरा देश उनके अच्छे स्वास्थ्य के लिए दुआ कर रहा है. एम्स में भर्ती अटल जी को फिलहाल लाइफ सपोर्ट सिस्टम पर रखा गया है. क्या आपको बता है कि अटल बिहारी वाजपेयी ने अपना जनेऊ त्याग दिया था. पंडित चंद्रिका प्रसाद ने अपनी किताब ‘कवि राजनेता अटल बिहारी वाजपेयी’ में उनके बारे में कई अनसुने और दिलचस्प किस्सों का वर्णन किया है. आप भी जानें इस किताब के कुछ अंश.

 जन्म होते ही मिली तोपों की सलामी

अटल का व्यक्तित्व ही अनोखा नहीं था. उनका जन्म का समय भी विशिष्ट था जिस समय रात को गिरिजाघर में घंटियां बज रही थीं और तोपों के गोलों की आवाजें आ रही थीं. दरअसल, वह ईसामसीह का जन्मदिन था. उस समय ग्वालियर में 25 दिसंबर 1924 को ब्रह्ममुहूर्त में शिन्दे की छावनी वाले घर में अटल का जन्म हुआ था. वैसे उनके स्कूल के प्रमाणपत्र में जन्म की तिथि 25 दिसंबर 1926 लिखी है. यह दो वर्षों का अंतर अभिभावकों ने इसलिए कराया था कि कम आयु लिखी जाएगी तो लड़का ज्यादा दिनों तक नौकरी कर सकेगा. इसका जिक्र स्वयं अटल बिहारी वाजपेयी ने ग्वालियर के नारायण तरटे को 7 जनवरी, 1986 को लिखे एक पत्र में किया था. उन्होंने लिखा था कि –आपका पत्र मिला. बड़ी प्रसन्नता हुई. इतने संगी-साथियों में यदि किसी के स्नेह-आशीर्वाद की अभिलाषा रहती है तो वह आप ही हैं. मेरा जन्म 1924 में हुआ था. पिताजी ने स्कूल में नाम लिखाते समय 1926 लिखा दिया था कि उम्र कम होगी तो नौकरी ज्यादा कर सकेगा, देर में रिटार होगा. उन्हें क्या पता था कि मेरी वर्षगांठ मनेगी और मनाने वाले मुझे छोटा बनाकर पेश करेंगे.–

रोने का हक

एक बार ग्वालियर के शिंदे की छावनी वाले मकान की बैठक में उनके दादा रामायण बांच रहे थे. अचानक अंदर से पेते अटल के रोने की आवाज आई. बाबा अंदर पहुंच गए. उन्हें देखकर अटल जोर से रोने लगे. बाबा ने पूछा, क्यों रो रहे हो? अटल ने कहा कि मुझे बहुत पीटा है और कहते हैं रोना मत. बाबा ने कहा, वाह बच्चे को पीटा है और कहते हो रोना मत! अरे मारा-पीटा है तो रोने का अधिकार तो देना ही चाहिए.

पहली गिरफ्तारी बटेश्वर में

बटेश्वर में ही अटल पहली बार स्वतंत्रता संग्राम में गिरफ्तार किए गए थे. 1942 में जब महात्मा गांधी ने अंग्रेजो भारत छोड़ो का नारा दिया था तो ग्वालियर में भी अगस्त क्रांति की लहर चल पड़ी. छात्र वर्ग की अगुवाई किशोर अटल कर रहे थे. जब आंदोलन ने उग्र रूप धारण कर लिया तो धर-पकड़ शुरू हो गई. शहर कोतवाल ने उनके पिताजी को बताया कि आपके पुत्र कारागार जाने की तैयारी कर रहे हैं. तब अटल के पिता ने उन्हेहं बड़े भाई प्रेम बिहारी वाजपेयी के साथ बटेश्वर भेज दिया. वहां भी क्रांति की आग धधक रही थी. अटल वहां भी सक्रिय हो गए. प्रेमबिहारी वाजपेयी उन पर बराबर नजर रखते थे और वह उन्हें चकमा देकर नारे लगाने और भाषण देने निकल जाते थे. एक दिन पुलिस ने पकड़ लिया. आगरा जेल में बच्चा बैरक में 24 दिन बंद रहे. नाबालिग होने के कारण बाद में उन्हें छोड़ दिया गया.

रटकर नहीं बोलने का संकल्प

अपने पहले भाषण के संदर्भ में अटल बिहारी वाजपेयी स्वयं बताते थे कि –हां, बहुत डर लगा. जब मैं पहली बार भाषण देने के लिए खड़ा हुआ. तब मैं बड़नगर में था. मेरे पिताजी हेडमास्टर थे. वार्षिकोत्सव था. बिना तैयारी के मैं स्टेज पर खड़ा रहा. बीच में लड़खड़ा गया. भाषण बंद करना पड़ा. मगर उस समय मैं पांचवी कक्षा का विद्यार्थी था, अतः किसी ने इस बात को गंभीरता से नहीं लिया. इसके बाद एक बार ग्वालियर में एक वाद-विवाद प्रतियोगिता में मेरी बड़ी जगहंसाई हुई थी. मैं रटकर गया था और बीच में भूल गया. लोगों ने शोर मचाना शुरू कर दिया कि रटकर आया है, रटकर आया है. मुझे बोलना बंद करना पड़ा. तबसे मैने संकल्प कर लिया कि मैं रटकर नहीं बोलूंगा.

पनेछा, गलरा, सिकरन व बाजरे के पुआ

अटल जी की भाभी (प्रेमबिहारी वाजपेयी की पत्नी) राजेश्वरी वाजपेयी बताती थीं कि साफ कपड़े पहनने की उनकी शुरू से आदत रही. संघ से उनका ऐसा लगाव था कि यज्ञोपवीत के दिन भी खाकी नेकर और सफेद कमीज पहनकर गणवेश में लक्ष्मीगंज की बौद्धिक शाखा में शामिल होने पहुंच गए थे. जनेऊ के समय खोजा गया तो वहां मिले. वह बताती हैं कि अटल को मूंग दाल का पनेक्षा, करायल, गलरा और घी बघारी दालें बहुत पसंद हैं.

त्याग दिया जनेऊ

सबसे बड़े भाई के पास उनसे जुड़े ढेरों संस्मरण थे- अटल राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यक्रमों में छत से कूदकर निकल जाते थे. हमारे घर में एक पाकड़ का पेड़ था. हम लोग गुल्ली-डंडा का खेल खेलते थे. अटल फुर्तीले थे और जल्द पेड़ पर चढ़ जाते थे. एक दिन वह आरएसएस की ट्रेनिंग करके लौटे तो जनेऊ कहां है? जवाब था, उतार दिया. कहा कि तब तक मैं जनेऊ नहीं पहनूंगा, जब तक हिंदू मात्र को जनेऊ पहनने का अधिकार नहीं मिल जाता .-

कानपुर से याराना

कानपुर में अटल बिहारी वाजपेयी अपने पिता कृष्ण बिहारी वाजपेयी के साथ कानून की पढ़ाई एक ही कक्षा में करते थे. कानपुर के डीएवी कालेज में जब पिता-पुत्र दोनों का नाम आगे-पीछे पुकारा जाता तो सभी साथी खूब हंसते. कानपुर में ही पढ़ाई के दौरान अटल कनपुरिया बोलने लगे. -झाड़े रहो कलक्टरगंज- , -कहो गुरू-, -आवो पहलवान- जैसे शब्दों का वे भरपूर प्रयोग करते थे. कानपुर की बोली, संस्कृति और साहित्य से उनका याराना हो गया था. कन्नौजी, बैंसवारी शब्दों का प्रयोग अटल ने कानपुर प्रवास के बाद ही शुरू किया.

यह भी पढ़ें-

अटल बिहारी वाजपेयी: एक दिग्गज राजनेता से एक कवि तक

पूर्व पीएम वाजपेयी के खराब स्वास्थ्य के चलते जन्मदिन नहीं मनाएंगे अरविंद केजरीवाल

गोरखपुर में 78 साल पहले भाई की शादी में सहबाला बनकर आए थे अटल बिहारी बाजपेयी

और देखें
Advertisement
Advertisement
25°C
New Delhi
Rain: 100mm
Humidity: 97%
Wind: WNW 47km/h
Advertisement

टॉप हेडलाइंस

Jammu Kashmir 3rd Phase Voting: 40 सीटें, 415 उम्मीदवार: जम्मू-कश्मीर में तीसरे चरण के लिए मतदान आज, ये VVIP मैदान में
40 सीटें, 415 उम्मीदवार: जम्मू-कश्मीर में तीसरे चरण के लिए मतदान आज, ये VVIP मैदान में
‘गजनी’ के लिए आमिर नहीं ये सुपरस्टार था पहली पसंद, लेकिन विलेन के एक डर ने एक्टर से छीन ली फिल्म
‘गजनी’ के लिए आमिर नहीं ये सुपरस्टार था पहली पसंद, जानें क्यों हुए रिप्लेस ?
Jharkhand Polls 2024: 3 दलों के बीच अलायंस की बनी सहमति, हेमंत सोरेन को सपोर्ट करने पर भी BJP राजी पर रख दी ये बड़ी शर्त!
हमारे साथ आ जाइए- हेमंत सोरेन को कौन से भाजपाई CM ने दे दिया ऑफर?
5वें दिन टीम इंडिया को हराने के लिए बांग्लादेश ने बना लिया मेगा प्लान, इस खिलाड़ी ने किया जीत का दावा
5वें दिन टीम इंडिया को हराने के लिए बांग्लादेश ने बना लिया मेगा प्लान, इस खिलाड़ी ने किया जीत का दावा
Advertisement
ABP Premium

वीडियोज

Coldplay Concert : टिकटों की कालाबाजारी में घिरा 'बुक माय शो' | ABP NewsBihar Flood News: नेपाल से आई तबाही, बिहार में लाई बर्बादी | ABP News | Rain AlertABP News: मजदूर के बेटे ने Dhanbad IIT को झुका दिया, SC ने पक्ष में सुनाया बड़ा फैसला | UP Newsहरियाणा चुनाव: हुड्डा-शैलजा का हाथ पकड़ कर राहुल गांधी ने की दूरियां! | तोड़ना | एबीपी न्यूज

फोटो गैलरी

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
Jammu Kashmir 3rd Phase Voting: 40 सीटें, 415 उम्मीदवार: जम्मू-कश्मीर में तीसरे चरण के लिए मतदान आज, ये VVIP मैदान में
40 सीटें, 415 उम्मीदवार: जम्मू-कश्मीर में तीसरे चरण के लिए मतदान आज, ये VVIP मैदान में
‘गजनी’ के लिए आमिर नहीं ये सुपरस्टार था पहली पसंद, लेकिन विलेन के एक डर ने एक्टर से छीन ली फिल्म
‘गजनी’ के लिए आमिर नहीं ये सुपरस्टार था पहली पसंद, जानें क्यों हुए रिप्लेस ?
Jharkhand Polls 2024: 3 दलों के बीच अलायंस की बनी सहमति, हेमंत सोरेन को सपोर्ट करने पर भी BJP राजी पर रख दी ये बड़ी शर्त!
हमारे साथ आ जाइए- हेमंत सोरेन को कौन से भाजपाई CM ने दे दिया ऑफर?
5वें दिन टीम इंडिया को हराने के लिए बांग्लादेश ने बना लिया मेगा प्लान, इस खिलाड़ी ने किया जीत का दावा
5वें दिन टीम इंडिया को हराने के लिए बांग्लादेश ने बना लिया मेगा प्लान, इस खिलाड़ी ने किया जीत का दावा
Core Sector Growth: कोयला-बिजली उत्पादन में कमी के चलते अगस्त में घटा इंडस्ट्रियल प्रोडक्शन, 3 वर्षों में पहली बार आई गिरावट
कोयला-बिजली उत्पादन में कमी के चलते अगस्त में घटा इंडस्ट्रियल प्रोडक्शन, 3 वर्षों में पहली बार आई गिरावट
बैंक मैनेजर ने अटल सेतु से कूदकर दी जान, पत्नी ने लगाया वर्क लोड का आरोप- जानें इससे कैसे रहें दूर
बैंक मैनेजर ने अटल सेतु से कूदकर दी जान, पत्नी ने लगाया वर्क लोड का आरोप- जानें इससे कैसे रहें दूर
MUDA Scam में नया मोड़ः मूडा साइट्स सरेंडर करने को कर्नाटक CM की पत्नी तैयार, कमिश्नर को लिखी चिट्ठी
MUDA Scam में नया मोड़ः मूडा साइट्स सरेंडर करने को कर्नाटक CM की पत्नी तैयार, कमिश्नर को लिखी चिट्ठी
Phone Blast: चार्ज पर लगे-लगे फोन फट कैसे जाता है, ये है वजह
चार्ज पर लगे-लगे फोन फट कैसे जाता है, ये है वजह
Embed widget