श्रीनगर में ‘राइजिंग कश्मीर’ के संपादक शुजात बुखारी की हत्या, लश्कर पर हत्या का शक
शुजात बुखारी के परिवार से मिलने कल रात मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती अस्पताल पहुंचीं. वहां पत्रकारों से बात करते हुए वो रो पड़ीं. महबूबा मुफ्ती ने कहा कि इससे बुरा और कुछ नहीं हो सकता है. शुजात बुखारी मुझसे मिलने वाले थे. यह एक कायरता पूर्ण घटना: राजनाथ सिंह गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट किया, ''राइजिंग कश्मीर के संपादक शुजात बुखारी की हत्या एक कायराना हरकत है. यह कश्मीर की बौद्धिक आवाज को खत्म करने की कोशिश है. वह एक साहसिक और निडर पत्रकार थे. उनकी मौत से बेहद हैरान और दुखी हूं. बहादुर परिवार के साथ मेरी संवेदनाएं हैं.''Srinagar Police seeks help of the general public to identify the suspects involved in yesterday's terror attack in Press Colony that killed editor of Rising Kashmir newspaper Shujaat Bukhari. Police releases photographs of the suspect from CCTV footage #JammuAndKashmir pic.twitter.com/ggJhzH7IiJ
— ANI (@ANI) June 14, 2018
शुजात बुखारी की हत्या से बेहद दुखी हूं- राहुल गांधी शुजात बुखारी की हत्या पर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी ट्वीट किया है. राहुल ने लिखा है, ''राइजिंग कश्मीर के संपादक शुजात बुखारी की हत्या से बेहद दुखी हूं. वे बहुत दिलेर इंसान थे और जम्मू कश्मीर में शांति और न्याय के लिए काम कर रहे थे. परिवार के साथ मेरी संवेदनाएं हें., उन्हें हमेशा याद किया जाएगा.''The killing of @RisingKashmir editor, Shujaat Bukhari is an act of cowardice. It is an attempt to silence the saner voices of Kashmir. He was a courageous and fearless journalist. Extremely shocked & pained at his death. My thoughts and prayers are with his bereaved family.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) June 14, 2018
उमर अब्दुल्ला ने की पाकिस्तान की निंदा जम्मू-कश्मीर के पूर्व सीएम उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट पर शुजात बुखारी की हत्या पर अफसोस जताया है. साथ ही पाकिस्तान की भी निंदा की है. उमर ने लिखा है, ‘’पाकिस्तान साज़िश के तहत ये आरोप लगा रहा है कि शुजात बुखारी की हत्या इसलिए की गई, क्योंकि उन्होंने मानवाधिकार रिपोर्ट को ट्वीट किया था. शर्मनाक. पाकिस्तान को कम से कम शुजात का नाम सही से लेना चाहिए था. उनका नाम बुखारी था ना कि बुखारा.’’I’m anguished to hear about the killing of Shujaat Bukhari, editor of @RisingKashmir. He was a brave heart who fought fearlessly for justice and peace in Jammu & Kashmir. My condolences to his family. He will be missed.
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) June 14, 2018
प्रेस क्लब ऑफ इंडिया ने की घटना की निंदा जम्मू कश्नमीर में 1990 से लेकर अब तक 17 पत्रकारों की हत्या हो चुकी है. प्रेस क्लब ऑफ इंडिया ने बुखारी की हत्या की निंदा है. प्रेस क्लब की ओर जारी बयान में कहा गया कि प्रेस क्लब ऑफ इंडिया रमजान के पवित्र महीने में शुजात बुखारी की हत्या से हैरान और दुखी है. यह दर्शाता है कि पत्रकार सुरक्षित नहीं हैं. एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया भी बुखारी की हत्या की निंदा की. एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया ने बयान में कहा कि बुखारी संयम की आवाज और बड़े दिल वाले संपादक थे, जिन्होंने कश्मीर में युवा पत्रकारों के बड़े काडर को शिक्षा देने का काम किया. एक पत्रकार पर हमला फ्री प्रेस और जीवित लोकतंत्र की नींव को चुनौती देता है.Never one to resist playing in Kashmir’s troubled waters Pakistan floats the conspiracy theory that #ShujaatBhukari was killed because he tweeted about today’s Human Rights report. #Shame https://t.co/9qQ67ftzUm
— Omar Abdullah (@OmarAbdullah) June 14, 2018