Power Crisis: देश के कुछ राज्यों में जारी बिजली संकट के बीच केंद्र सरकार ने उन राज्यों को चेताया है जिन पर बिजली उत्पादन कंपनियों और कोयला कंपनियों का पैसा बकाया है. केंद्रीय ऊर्जा सचिव ने उन छह राज्यों के मुख्य सचिवों को एक पत्र लिखा है जिनपर बिजली कंपनियों का सबसे ज़्यादा बक़ाया है. ऊर्जा सचिव ने पत्र में इन राज्यों से कहा है कि वो बिजली उत्पादन कंपनियों का बकाया जल्द से जल्द चुकता करें.
‘बिजली आपूर्ति बाधित हो सकती है’
ऊर्जा सचिव ने कहा कि अगर ऐसा नहीं होता है तो इन राज्यों को हो रही बिजली आपूर्ति में गंभीर बाधा उत्पन्न हो सकती है. ऊर्जा सचिव के मुताबिक बिजली कंपनियों और कोयला कंपनियों का बक़ाया चुकाना राज्य सरकारों की ज़िम्मेदारी है.
तमिलनाडु पर सबसे ज्यादा बकाया
इन छह राज्यों पर कुल बकाया करीब 75000 करोड़ रुपया है जिसमें सबसे ज़्यादा बकाया तमिलनाडु पर है. राज्य पर बिजली उत्पादन कंपनियों का 20,842 करोड़ रुपया जबकि कोल इंडिया लिमिटेड का 729 करोड़ रुपया बकाया है.
दूसरे नंबर पर है महाराष्ट्र
इसके बाद महाराष्ट्र का नंबर आता है. महाराष्ट्र पर बिजली उत्पादन कंपनियों का 18,014 करोड़ रुपए और कोल इंडिया लिमिटेड का 2573 करोड़ रुपया बकाया है.
इन राज्यों पर भी है बकाया
राजस्थान सरकार पर बिजली कंपनियों का 11,176 करोड़ और कोयला कंपनी पर 307 करोड़ रुपया बकाया है. उत्तर प्रदेश पर बिजली कंपनियों का 9,372 करोड़ रुपया और कोयला कंपनियों का 319 करोड़ रुपया बक़ाया है. इसी तरह जम्मू कश्मीर पर 7,275 करोड़ रुपया और मध्यप्रदेश पर 5030 करोड़ रुपया बकाया है.
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