'सोजनी' कला को नया आयाम दे रहे शौकत, पश्मीना शॉल पर सुई-धागे से उकेरी गांधी, आंबडेकर और पीएम मोदी की तस्वीर
Jammu Kashmir Artist: कश्मीर निवासी शौकत प्राचीन काल की सोजनी कला को बचाने की कोशिश कर रहे हैं. इसके लिए वह पश्मीना शॉल पर अनूठी कृतियां बना रहे हैं.
!['सोजनी' कला को नया आयाम दे रहे शौकत, पश्मीना शॉल पर सुई-धागे से उकेरी गांधी, आंबडेकर और पीएम मोदी की तस्वीर Sozni artist draws faces of mahatma Gandhi BR Ambedkar and Pm Modi on pashmina shawl ANN 'सोजनी' कला को नया आयाम दे रहे शौकत, पश्मीना शॉल पर सुई-धागे से उकेरी गांधी, आंबडेकर और पीएम मोदी की तस्वीर](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2023/09/11/2a5f060474ee6478ccf5330f2ebf886c1694428184117124_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Sozni Artist Of Jammu Kashmir: कश्मीरी पश्मीना शॉल प्राचीन काल से ही अपनी कोमलता और सुई की बारीक कारीगरी के लिए विश्व प्रसिद्ध है. दुनिया भर में अमीरों और शक्तिशाली लोगों के साथ-साथ आम लोग भी इसे पहनते रहे हैं, लेकिन बदलते समय में एक कश्मीरी कलाकार सुई के काम, जिसे स्थानीय तौर पर सोजनी के नाम से जाना जाता है, को नया आयाम देने के मिशन पर निकल पड़ा है.
गांदरबल जिले के बटविनी क्षेत्र में रहने वाले सोजनी कलाकार शौकत अहमद लोन ने समकालीन तत्वों (Contemporary Elements) को सरलता से शामिल करके पारंपरिक शिल्प में नई जान फूंक दी है. पश्मीना शॉल पर उनकी बनाई देश की प्रमुख हस्तियों के आकर्षक चित्रों वाली उनकी अनूठी कृतियां हर तरफ प्रशंसा और तालियां बटोर रही हैं.
पश्मीना शॉल पर बनाए मानव चेहरे
सोजनी कारीगर पश्मीना शॉल पर जटिल पैटर्न बुनने के लिए महीन सुइयों और रेशम के धागों का उपयोग करते हैं. परंपरागत रूप से शॉल पर सुई से पत्तियां, फूल और निर्जीव डिजाइन बने होते हैं, लेकिन शौकत ने अपनी कला को बदलने के प्रयास किया और जटिल सुई का इस्तेमाल करके मानव चेहरे बनाकर अपना हाथ आजमाया.
महात्मा गांधी, डॉ बी आर अंबेडकर की तस्वीर बनाई
शौकत ने अपनी कलाकारी को लेकर कहा, "मैंने अपने काम को आधुनिक स्पर्श दिया है. इससे मुझे न सिर्फ खुशी मिलती है, बल्कि मेरी शिल्प कला को एक ताजा और नया लुक मिलता है." अपनी शॉल में शौकत ने महात्मा गांधी, डॉ बीआर अंबेडकर, एपीजे अब्दुल कलाम, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और डॉ मनमोहन सिंह जैसी उल्लेखनीय हस्तियों की छवियों को उकेरा.
'सोजनी कला में गिरावट'
उन्होंने कहा, "इस कला में लगातार गिरावट देखी जा रही है, लेकिन मैंने प्रभावशाली और प्रसिद्ध व्यक्तियों के चित्रों को बुनकर इसको नई शक्ति देने का प्रयास किया है. इसके लिए मुझे 2022 में हस्तशिल्प विभाग ने पुरस्कार से सम्मानित किया था और अब मुझे वह पहचान मिल रही है, जिसका मैं हकदार हूं."
शौकत ने उद्योग में कारीगरों के सामने आने वाली मौजूदा चुनौतियों को लेकर कहा, "मुझे भले ही पहचान मिल गई है, लेकिन वास्तविकता यह है कि सोजनी कारीगरों का अभी भी शोषण किया जा रहा है."
शॉल पर बनाई भगवान राम और सीता की तस्वीर
बता दें शौकत ने एक ऐसी शॉल तैयार की है, जिसमें एक तरफ भगवान राम और सीता की छवि है और दूसरी तरफ ताज महल है. उन्होंने बताया कि मैंने राम और सीता की तस्वीर सम्मान से बनाई है." शौकत ने आगे कहा, ''मेरा इरादा बॉलीवुड एक्टर्स और कश्मीर की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को दर्शाने वाले चित्र बुनने का है."
शोषण के कारण कला से दूर हो रहे युवा
सोजनी कला क्षेत्र के भीतर शोषण पर चिंता व्यक्त करते हुए कलाकार ने सरकार से ऐसे उपाय करने की अपील की है, जिससे कारीगरों की कड़ी मेहनत के लिए उचित मुआवजा सुनिश्चित हो सके. उन्होंने कहा, "इस शोषण के कारण, युवा पीढ़ी इस स्वदेशी कश्मीरी कला से दूर जा रही है, जिसके चलते धीरे-धीरे इसमें गिरावट आ रही है."
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