मुंबई: सुशांत सिंह राजपूत मामले में बिहार पुलिस और मुंबई पुलिस आमने सामने है. बिहार पुलिस का आऱोप है कि मुंबई पुलिस जांच में सहयोग नहीं कर रही है. उधर बिहार के आईपीएस अधिकारी विनय तिवारी को मुंबई पहुंचते ही बीएमसी ने क्वॉरन्टीन कर दिया था. बाद में हार पुलिस ने क्वॉरन्टीन के नियमों में छूट की मांग की थी.
बीएससी ने दिया ये जवाब
सुशांत सिंह राजपूत मामले में जांच के लिए पटना के पुलिस अधीक्षक विनय तिवारी के लिए क्वॉरन्टीन के नियमों में छूट की बिहार पुलिस की मांग के जवाब में उन्हें डिजिटल तरीकों से बातचीत करने का सुझाव दिया है. रविवार को विनय तिवारी पटना पहुंचे थे.
बिहार के डीजीपी क्या बोले?
इस पर बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांड ने ट्वीट करते हुए कहा, ‘’पटना IG ने BMC के चीफ़ को पत्र लिखकर IPSविनय तिवारी को कोरंटिन करने का विरोध करते हुए उनको मुक्त करने का अनुरोध किया था जिसको ठुकरा दिया गया है.BMC ने पत्र का जबाब भी पटना पुलिस को भेज दिया है.यानि हमारे SP विनय तिवारी अब 14 दिन तक वहीं क़ैद रहेंगे.BMCका यह फ़ैसला दुर्भाग्यपूर्ण!’’
3 अगस्त को बिहार पुलिस ने लिखा था खत
बीएमसी ने मंगलवार को एक पत्र में बिहार पुलिस से कहा कि शहर में पूछताछ के लिए जूम, गूगल मीट, जियो मीट, माइक्रोसॉफ्ट टीम्स या अन्य डिजिटल प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल किया जाए. इससे पहले बिहार पुलिस ने तीन अगस्त को पत्र लिखकर विनय तिवारी के लिए क्वॉरन्टीन के नियमों में ढील की मांग की थी.
सुशांत सिंह राजपूत की मौत के मामले में जांच कर रहे बिहार पुलिस के दल की अगुवाई करने रविवार को मुंबई पहुंचे विनय तिवारी को बीएमसी ने 14 दिन के लिए क्वॉरन्टीन में भेज दिया था.
बिहार पुलिस के पत्र के जवाब में बीएमसी के अतिरिक्त निगम आयुक्त पी वेलरासू के हस्ताक्षर वाले पत्र में कहा गया, ‘‘डिजिटल प्लेटफॉर्म के इस्तेमाल से न तो तिवारी तिवारी उन अधिकारियों को संक्रमण फैला सकेंगे जिनसे वह मिल रहे हैं (यदि वह बिहार से संक्रमित होकर आये होंगे तो) क्योंकि बिहार में कोरोना वायरस महामारी तेजी से फैल रही है, ना ही वह खुद भी मुंबई में महाराष्ट्र सरकार के अनेक अधिकारियों से मुलाकात के दौरान संक्रमित होंगे.’’ बीएमसी ने कहा कि विनय तिवारी को महाराष्ट्र सरकार के सभी नियम और शर्तों का पालन करना चाहिए.