1945 में एक विमान दुर्घटना में हुई थी सुभाष चंद्र बोस की मौत: सरकार
नई दिल्ली: नेताजी की मौत से जुड़े विवाद के बीच सरकार ने कहा कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस का 1945 में एक विमान दुर्घटना में निधन हो गया था. वहीं नेताजी के परपोते और बीजेपी (भारतीय जनता पार्टी) नेता चंद्र बोस ने नेताजी के निधन पर केंद्र सरकार के बयान को खारिज करते हुए उनके लापता होने के पीछे के सच का पता लगाने के लिए विशेष जांच दल गठित करने की मांग की है. उधर कांग्रेस ने एनडीए (नेशनल डेमोक्रेटिक अलायंस) सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि वह फिर से इतिहास लिखने की कोशिश कर रही है.
कोलकाता के एक निवासी के सूचना के अधिकार के तहत मांगी गई जानकारी के जवाब में गृह मंत्रालय ने कहा कि नेताजी की मौत की जांच करने वाली अलग-अलग समितियों की रिपोर्ट पर विचार करने के बाद सरकार इस नतीजे पर पहुंची है कि नेताजी की मौत विमान हादसे में हुई. बहुत से लोगों का मानना था कि नेताजी इस हादसे में बच गए थे. मंत्रालय ने अपने जवाब में कहा कि शाहनवाज समिति, न्यायमूर्ति जीडी खोसला आयोग और न्यायमूर्ति मुखर्जी जांच आयोग की रिपोर्ट पर विचार के बाद सरकार इस नतीजे पर पहुंची कि विमान हादसे में उनकी मौत हो गई थी.
उन खबरों को भी खारिज कर दिया गया कि 1897 में पैदा हुये बोस ‘गुमनामी बाबा’ के भेष में रहे. मंत्रालय के जवाब में कहा गया, ‘‘मुखर्जी आयोग इस नतीजे पर पहुंचा कि गुमनामी बाबा भगवानजी, नेताजी सुभाष चंद्र बोस नहीं थे.’’
गृह मंत्रालय की वेबसाइट http://www.mha.nic.in/ और मुखर्जी आयोग की रिपोर्ट के पेज नंबर 114-122 पर गुमनामी बाबा और भगवानजी के बारे में जानकारी उपलब्ध है. वहीं कोलकाता में चंद्र बोस ने कहा, ‘‘मैं केंद्र सरकार से उस अधिकारी के खिलाफ तत्काल कार्रवाई करने की मांग करता हूं जिसने इतना गैर जिम्मेदाराना जवाब दिया. बिना किसी ठोस साक्ष्य के सरकार नेताजी की मौत के बारे में किसी नतीजे पर कैसे पहुंच सकती है?’’
बीजेपी की बंगाल इकाई के उपाध्यक्ष बोस ने कहा, ‘‘केंद्र सरकार को ऐसे भ्रामक बयानों पर माफी मांगनी चाहिये और नेताजी सुभाष चंद्र बोस के गायब होने के रहस्य का सच सामने लाने के लिये विशेष जांच दल गठित करना चाहिये.’’
उधर कांग्रेस ने बीजेपी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार पर इतिहास को नये सिरे से लिखने के प्रयास करने का आरोप लगाते हुये कहा कि उन्होंने नेताजी सुभाष चंद्र बोस के निधन से जुड़ा नया विवाद छेड़ दिया है और उसे माफी मांगनी चाहिये. कांग्रेस पार्टी ने ट्विटर पर कहा, ‘‘बीजेपी ने नेताजी के निधन से जुड़ा नया विवाद छेड़ दिया है. इसने सूचना के अधिकार के जरिये सरकार की सही स्थिति का खुलासा किया.’’
कांग्रेस प्रवक्ता अजय कुमार ने कहा कि बीजेपी के सत्ता में आने के बाद स्वतंत्रता संग्राम से जुड़े नेताओं को बदनाम करने का ठोस प्रयास हो रहा है फिर चाहे वह जवाहर लाल नेहरू हों, सरदार पटेल या महात्मा गांधी. उन्होंने कहा, ‘‘बीजेपी इतिहास को फिर से लिखने का सुनियोजित प्रयास कर रही है. बीजेपी और आरएसएस (राष्ट्रीय स्वंय सेवक संघ) के ‘डर्टी ट्रिक्स डिपार्टमेंट’ ने नेताजी की मौत के बारे में एक कहानी रची है.’’