चंडीगढ़ मेयर चुनाव मसला एक बार फिर पहुंचा सुप्रीम कोर्ट, रिटायर्ड हाई कोर्ट जज की निगरानी में चुनाव की मांग पर नोटिस जारी
कुलदीप कुमार की याचिका पर आदेश देते हुए पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट ने 29 जनवरी के बाद चुनाव का आदेश दिया, जबकि पहले चुनाव 24 जनवरी को चुनाव होने थे.

चंडीगढ़ नगर निगम के अहम पदों के चुनाव पारदर्शी तरीके से करवाने के लिए मेयर कुलदीप कुमार ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. कोर्ट ने कुलदीप कुमार की याचिका पर प्रशासन को नोटिस जारी किया है. 27 जनवरी को मामले पर आगे सुनवाई होगी.
कुलदीप कुमार की याचिका में मांग की गई है कि नगर निगम के मेयर, सीनियर डिप्टी मेयर और डिप्टी मेयर का चुनाव गुप्त मतदान यानी सीक्रेट बैलेट की जगह पार्षदों के हाथ खड़े कर करवाया जाए. चुनाव साफ-सुथरे तरीके से हों, इसकी निगरानी के लिए हाईकोर्ट के किसी रिटायर्ड जज को पर्यवेक्षक बनाया जाए.
ध्यान रहे कि पिछले साल भी चंडीगढ़ मेयर चुनाव में धांधली को लेकर काफी हंगामा हुआ था. मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा था. 20 फरवरी, 2024 को सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव अधिकारी अनिल मसीह के आचरण पर कड़ी टिप्पणी करते हुए चुनाव परिणाम को पलट दिया था. कोर्ट ने आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के साझा उम्मीदवार कुलदीप कुमार को मेयर घोषित किया था. कोर्ट ने माना था कि कुलदीप कुमार को मिले 8 वोट गलत तरीके से अमान्य करार दिए गए.
चंडीगढ़ प्रशासन ने इस साल मेयर के लिए 24 जनवरी की तारीख तय की थी, लेकिन कुलदीप कुमार की याचिका पर आदेश देते हुए पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट ने 29 जनवरी के बाद चुनाव का आदेश दिया. इसके चलते अब यह चुनाव आदेश 30 जनवरी को होना हैं. इस बीच कुलदीप कुमार अब सुप्रीम कोर्ट पहुंच गए हैं. उन्होंने पिछले साल की तरह धांधली की आशंका जताई है.
शुक्रवार, 24 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट में यह मामला जस्टिस सूर्यकांत और एन कोटिश्वर सिंह की बेंच में लगा. याचिका में उठाए गए मुद्दों पर विचार करते हुए बेंच ने चंडीगढ़ प्रशासन से जवाब मांग लिया. चुनाव की तारीख नजदीक होने के मद्देनजर कोर्ट ने सोमवार, 27 जनवरी को सुनवाई की बात कही है.
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