Swati Maliwal Assault News: विभव कुमार की जमानत का दिल्ली पुलिस ने किया विरोध, कहा- सबूतों को कर सकते हैं प्रभावित
Swati Maliwal Assault: स्वाति मालीवाल ने आरोप लगाया है कि 13 मई को उनके साथ सीएम हाउस में मारपीट हुई. उन्होंने मारपीट का आरोप विभव कुमार पर लगाया है.
Bibhav Kumar Bail Plea: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सहयोगी विभव कुमार की जमानत याचिका पर सोमवार (27 मई) को तीस हजारी कोर्ट में सुनवाई हुई. इस दौरान विभव के वकील हरी हरन ने कहा कि स्वाति मालीवाल जबरन मुख्यमंत्री आवास में घुसी थीं. उनका इरादा परेशान करने का था. सांसद होने के नाते उन्हें कुछ भी करने की छूट नहीं दी जा सकती है. राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल ने विभव कुमार पर मारपीट का आरोप लगाया है.
दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट में सुनवाई के दौरान स्वाति मालीवाल भी मौजूद रहीं. विभव कुमार के वकील हरी हरन ने कहा कि मालीवाल की तरफ से दर्ज करवाई गई एफआईआर में आईपीसी की धारा 308 लगाई गई है, जिस पर सत्र न्यायालय में सुनवाई हो सकती है. आइए एफआईआर देखें और देखें कि क्या ये धाराएं लागू भी होती हैं? धारा 308 आईपीसी, क्या इसे भी ऐसे ही रखा गया है? मालीवाल ने यह नहीं कहा कि वह सीएम के बुलाने पर परिसर में आई थीं. फिलहाल अदालत ने फैसला सुरक्षित रख लिया है और वह चार बजे फैसला सुनाएगी.
सांसद होने के नाते क्या कुछ भी करने की छूट: विभव कुमार के वकील
वकील हरी हरन ने सवाल किया कि मालीवाल वह आवास में घुस गईं. यह अतिक्रमण के बराबर है. क्या कोई इस तरह से आवास में घुस सकता है? हमने उनके (मालीवाल) खिलाफ अतिक्रमण की शिकायत भी की है. यह सीएम का घर है, क्या कोई इस तरह से आ सकता है? सांसद होने के नाते, क्या आपको कुछ भी करने की छूट है?
विभव के वकील ने कहा कि मेरे मुवक्किल से कहा गया कि सांसद को आप बाहर इंतजार करवाओगे? वह इस तरह के बयान देकर तुरंत उकसावे का काम कर रही थीं. उन्हें सीएम के आवास में किसने बुलाया? वह अपने मन में कुछ सोच कर आई थीं. आने से पहले उन्होंने कुछ सोच रखा था. फिर उन्होंने बार-बार सुरक्षाकर्मियों से पूछा कि क्या उन्होंने विभव से बात की है?
दिल्ली पुलिस की जांच पर उठे सवाल
सुनवाई के दौरान वकील ने बताया कि मालीवाल बार-बार बिभव के बारे में पूछ रही थीं. क्या उन्हें बुलाया गया था? उन्हें सीएम के आवास पर किसने बुलाया? वह जबरन अंदर घुस रही हैं. यह अतिक्रमण है और एफआईआर हमारे खिलाफ है. यह किस तरह की जांच है? विभव कुमार के वकील ने दिल्ली पुलिस पर भी सवाल उठाए. दलीलें रखते हुए उन्होंने कहा कि पुलिस ने सुरक्षा कर्मचारियों द्वारा बनाई गई रिपोर्ट की अनदेखी क्यों की? यह किस तरह की जांच है?
वकील हरी हरन ने कहा कि स्वाति मालीवाल परेशानी पैदा करने के लिए पहले से ही सोची-समझी मंशा से आई थीं. वह अक्सर यहां आती रही हैं, इसलिए उन्हें क्या अतिक्रमण का अधिकार है?
कोर्ट में रोने लगीं स्वाति मालीवाल
वहीं, सुनवाई के दौरान कोर्ट रूम में स्वाति मालीवाल के मुख्यमंत्री आवास से निकलने का वीडियो जज को दिखाया गया. इसी दौरान दिल्ली पुलिस की एफआईआर के बारे में विभव के वकील जज को बता रहे थे, तभी स्वाति मालीवाल कोर्ट रूम में रोने लगीं. वकील ने कहा कि सीसीटीवी फुटेज बरामद की गई है. इसके साथ किसी तरह की कोई छेड़छाड़ का सवाल नहीं उठता है.
जज को विभव के वकील ने बताया कि पूछताछ में शुरू से ही उनके मुवक्किल उपलब्ध रहे हैं. उन्होंने कहा कि जिस दिन घटना हुई, उस दिन शिकायत नहीं दर्ज कराई गई, बल्कि उसके तीन दिन बाद एफआईआर हुई. उसके तीन दिन बाद AIIMS में एमएलसी कराई गई, जो अस्पताल घटनास्थल के पास में है, वहां नहीं जाया गया. इसके साथ ही विभव के वकील ने अपनी दलीलें पूरी कीं.
ऐसे व्यक्ति की इमेज क्यों खराब करेंगी, जो स्थायी कर्मचारी भी नहीं: दिल्ली पुलिस
विभव कुमार की जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान दिल्ली पुलिस के वकील ने दलीलें रखते हुए कहा कि महिला को इस तरह से मारा गया कि उसके कपड़े के बटन तक टूट गए. वह संसद की मौजूदा सदस्य हैं. दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष रही हैं. पार्टी चीफ जिनके घर स्वाति मालीवाल गई थीं, उन्होंने उनको 'लेडी सिंघम' कहा था.
दिल्ली पुलिस के वकील ने कहा कि क्या वह ऐसे व्यक्ति की इमेज को खराब करेंगी जो स्थायी कर्मचारी भी नहीं है. किसकी इमेज खराब करने की कोशिश की गई सब जानते हैं. पार्टी मुखिया के यहां जाने के लिए किसकी इजाजत की जरूरत है... विभव सर की? ये उल्टा चोर कोतवाल को डांटने वाला मामला है.
अगर विभव को मिली जमानत तो प्रभावित कर सकते हैं सबूत: दिल्ली पुलिस
पुलिस के वकील ने कहा कि मुख्यमंत्री का आवास सुरक्षा के लिहाज से बहुत सेंसेटिव होता है. अगर वहां कुछ हुआ तो उनकी तरफ से 100 नंबर पर कॉल क्यों नहीं की गई. उन्होंने कहा कि विभव प्रभावशाली व्यक्ति हैं. उनको पद से हटाने के बाद भी लोग मिलने के लिए उनको कॉल करते हैं, इसीलिए स्वाति मालीवाल ने उनको कॉल किया.
दिल्ली पुलिस ने कहा कि सिर्फ स्वाति मालीवाल ने ही 112 पर कॉल किया. अभी तक मुख्यमंत्री आवास से कोई कॉल नहीं की गई. पुलिस ने कहा कि विभव के फोन की जांच इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि यह जानना है कि वह किस-किस से बात करते थे. सेवा समाप्त होने के बाद भी वह वहां पर कैसे काम कर रहे थे. वीडियो डिलीट किया गया, शायद वह उसमें हो.
वकील ने कहा कि विभव कुमार मुंबई फोन फॉर्मेट करने के लिए गए. फॉर्मेट करने से पहले बैकअप तैयार किया जाता है, फोन का पासवर्ड हमको नहीं बताया गया. दिल्ली पुलिस ने कहा कि विभव प्रभावशाली व्यक्ति हैं. अगर इस स्टेज पर जमानत दी जाती है तो वह सबूतों को प्रभावित कर सकते है.
मुझे बीजेपी का एजेंट कहा गया, कोर्ट में बोलीं स्वाति मालीवाल
सुनवाई के दौरान स्वाति मालीवाल और विभव कुमार के वकील हरी हरन के बीच तीखी बहस हुई. विभव के वकील ने स्वाति मालीवाल के वकील के दलील रखने पर आपत्ति दर्ज कराई. वहीं, स्वाति मालीवाल ने कोर्ट में कहा कि जैसे ही मैंने एफआईआर दर्ज करवाई. उसके बाद उनके मंत्रियों ने एक दिन में तीन-तीन चार-चार बार प्रेस कॉन्फ्रेंस करके मुझको बीजेपी का एजेंट बताया गया. मुख्यमंत्री केजरीवाल विभव कुमार को लखनऊ, मुंबई लेकर गए.
विभव को मिली जमानत तो मेरी जान को होगा खतरा: स्वाति मालीवाल
स्वाति मालीवाल ने कोर्ट में कहा इनके पास ट्रोलिंग की फौज है, जिसको बोला गया है कि जो स्वाति मालीवाल के साथ या समर्थन में बोलेगा उसको बख्शा नहीं जाएगा. उन्होंने कहा कि अगर बिभव को जमानत दी गई तो मुझको और मेरे परिवार को जान का खतरा हो सकता है. मेरे पास गाड़ी नहीं है. रिश्तेदार की गाड़ी से अपना बयान दर्ज कराने के लिए गई थी. उस गाड़ी को फोकस किया गया है.
मालीवाल ने कहा कि जो सुविधा किसी को नहीं मिल रही है. वह सुविधा बिभव को दी जा रही है. मालीवाल के वकील ने बताया कि मेरे मुवक्किल को लगातार धमकियां मिल रही हैं. यहां तक कि रेप को धमकी भी दी जा रही है. मालीवाल ने कोर्ट में कहा कि एक बहुत बड़ा यूट्यूबर है जो पहले आप वोलेंटियर था. उसने एक तरफा वीडियो बनाया है. उसके बाद मुझे लगातार डेथ थ्रेट और रेप थ्रेट आने लग गए.
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