नई दिल्ली: तब्लीगी जमात का प्रमुख मौलादा साद करीब ढाई महीने बाद नजर आया. शुक्रवार को दिल्ली के जाकिर नगर इलाके में अबु बकर मस्जिद में मौलान साद ने जुम्मे की नमाज अदा की. सूत्रों की मानें तो मौलाना साद के साथ करीब 20 लोग और थे जिन्होंने नमाज पढ़ी.


नमाज पढ़ने के बाद साद वापस अपने रिश्तेदार के घर चला गया. ये करीब 3 बजे का वक़्त था जब मौलाना साद मस्जिद से नमाज अदा करके बाहर निकला. आस पास के लोगों ने बताया की मौलाना साद ने सिर्फ कुछ ही लोग थे जिनसे बात की. हालांकि बात क्या हुई ये अभी तक साफ नहीं हो पाया है. लेकिन इतना जरूर है कि मौलाना साद एक दम निश्चिंत नज़र आ रहा था. लोगों का कहना था कि मौलाना साद ज्यादा देर मस्जिद में रुका नहीं नमाज पढ़ते ही वो वापस उसी रिश्तेदार के घर चला गया जहां वो करीब ढाई महीने से रुका है.


मौलाना साद के बाहर आने पर अब सबसे बड़ा सवाल क्राइम ब्रांच के ऊपर खड़ा होता है कि आखिर क्यों क्राइम ब्रांच साद से पूछताछ नहीं कर पा रही है? ऐसी क्या वजह है कि मौलाना साद को पूछताछ के लिए नहीं बुलाया जा रहा है? अभी तक की जांच में क्राइम ब्रांच उन 7 में से 6 लोगों से तो पूछताछ कर चुकी है जिनका नाम एफआईआर में है लेकिन मौलाना साद से अभी तक पूछताछ नहीं हो पाई है.


क्राइम ब्रांच साद को चार नोटिस दे चुकी है. आखिरी नोटिस में क्राइम ब्रांच ने मौलाना साद से उसकी सरकारी टेस्ट रिपोर्ट मांगी थी लेकिन काफी समय बीत जाने के बावजूद मौलाना साद ने अभी तक अपनी सरकारी टेस्ट रिपोर्ट क्राइम ब्रांच को नहीं सौंपी है. क्राइम ब्रांच लगातार यह कहती रही है कि जब तक मौलाना साद सरकारी अस्पताल में कोरोना का टेस्ट नहीं करवाएगा तब तक उससे पूछताछ नहीं की जाएगी. अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि आखिरकार क्राइम ब्रांच कब तक मौलाना साद की सरकारी तक रिपोर्ट का इंतजार करेगी?


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