भारतीय जनता पार्टी (BJP) की तमिलनाडु इकाई के अध्यक्ष के. अन्नामलाई ने शुक्रवार (14 मार्च, 2025) को दावा किया कि रुपये के चिह्न को लेकर तमिलनाडु सरकार द्वारा हंगामा इसलिए खड़ा किया गया ताकि राज्य संचालित शराब निगम टीएएसएमएसी में प्रवर्तन निदेशालय द्वारा चिह्नित 1,000 करोड़ रुपये की रिश्वतखोरी से ध्यान भटकाया जा सके.


अन्नामलाई ने ये टिप्पणियां बेंगलुरु के जयनगर में जैन (डीम्ड) विश्वविद्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में कीं.


प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने पीटीआई वीडियो से कहा, 'भाजपा (चार विधायकों) ने धोखा देने वाले बजट को लेकर आज विधानसभा से बहिर्गमन किया. तमिलनाडु सरकार के पिछले चार बजटों को देखते हुए, इसमें कुछ भी रचनात्मक नहीं है.'


अन्नामलाई ने कहा कि तमिलनाडु सरकार को गुरुवार की घटना से अब भी सबक सीखना बाकी है. उन्होंने कहा, 'हमारा मानना ​​है कि विधानसभा को तैयार रहना चाहिए था और मुख्यमंत्री को बजट सत्र के दौरान ही टीएएसएमएसी मुद्दे पर बात करनी चाहिए थी. सड़ांध बहुत गहरी है इसीलिए हमने सदन से बहिर्गमन किया.'


उन्होंने राज्य सरकार के बजट की भी आलोचना की और कहा कि यह काफी हद तक कर्ज पर निर्भर है. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा, 'हमारा कर्ज पहले ही 9.5 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच चुका है. आज यह संभवत: 10 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच सकता है. कर्ज के मामले में हम नंबर एक राज्य हैं. वे सिर्फ उधार लेते हैं, उधार लेते हैं और खर्च करते रहते हैं.'


उन्होंने निर्वाचन क्षेत्रों के परिसीमन पर चर्चा के लिए 22 मार्च को तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम के स्टालिन द्वारा बुलाई गई बैठक को भी खारिज कर दिया और इसे गैर-मुद्दा कहा. अन्नामलाई ने कहा, '`गृह मंत्री अमित शाह ने स्पष्ट रूप से कहा है कि यह आनुपातिक आधार पर होगा, जिसका अर्थ है कि राज्य की वर्तमान स्थिति वही रहेगी... किसी का हिस्सा अधिक नहीं होगा और किसी का हिस्सा कम नहीं होगा.'


उन्होंने कहा, 'प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी एक साल पहले कहा था कि हम कांग्रेस के परिसीमन मॉडल में विश्वास नहीं करते, लेकिन उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा था कि कोई भी राज्य अपनी ताकत नहीं खोएगा, खासकर दक्षिणी राज्य. वे राई का पहाड़ बनाना चाहते हैं.'


 


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