Telangana Election 2023 Date: तेलंगाना में आगामी विधानसभा चुनावों के लिए मतदान 30 नवंबर को है. यहां इस बार कांग्रेस और भारत ऱाष्ट्रीय समिति (बीआरएस) के बीच कड़ी टक्कर है. कांग्रेस जहां अपनी जीता का दावा कर रही है तो दूसरी ओर बीआरएस वापसी की बात कह रही है. दोनों ही पार्टियों ने जीत के लिए अपनी पूरी ताकत लगा दी है. पर इन सबके बीच यहां को लेकर एक और ओपिनियन पोल हुआ है.
यह ओपिनियन पोल श्री आत्मसाक्षी (एसएएस) ग्रुप की ओर से किया गया है, जो अपनी सटीक भविष्यवाणियों के लिए जाना जाता है. इस ओपिनियन पोल में कहा गया है कि कि सत्तारूढ़ भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) आराम से जीत हासिल कर लेगी.
बीआरएस का वोट शेयर 42.5% तक रहने का दावा
एसएएस का ओपिनियन पोल कहता है कि बीआरएस 42.5 प्रतिशत वोट शेयर के साथ इस बार आगे रहेगी, जबकि कांग्रेस को 36.5 प्रतिशत और भाजपा को 10.75 प्रतिशत वोट मिलने की संभावना है. यह ओपिनियन पोल कंपनी ने 28 अक्टूबर को जारी किया था.
कुछ सीटों पर है करीबी मुकाबला
कुछ सीटों पर जहां करीबी मुकाबला हो सकता है, वहां बीआरएस तीन सीटों पर आगे चल रही है, जबकि कांग्रेस दो और भाजपा एक सीट पर आगे चल रही है. राज्य में साइलेंट वोट फैक्टर (एसवीएफ) 1.75 प्रतिशत देखा गया है. एसएएस ग्रुप की रिपोर्ट में कहा गया है कि आम तौर पर एसवीएफ का 80 फीसदी हिस्सा उस राजनीतिक दल का समर्थन करेगा जो चुनाव से ठीक पहले जनता के बीच विश्वास और गति पैदा करेगा.
अलग-अलग टाइम में तीन ओपिनियन पोल
संगठन ने अलग-अलग समय सीमा में अब तक तीन ओपिनियन पोल किए हैं. पहला पोल 18 जुलाई से 17 अगस्त के बीच किया गया, उसके बाद दूसरा 21 अगस्त से 30 अक्टूबर के बीच किया गया. तीसरा ओपिनियन पोल 2 से 28 अक्टूबर के बीच आयोजित किया गया. यह ओपिनियन पोल 110 विधानसभा क्षेत्रों में 2,65,000 सैंपल लेकर पूरा किया गया.
हर निर्वाचन क्षेत्र से औसतन 2400 सैंपल लिए गए. सैंपल रैंडम और सेलेक्टिव दो तरीके से लिए गए. रैंडम और सेलेक्टिव सैंपल क्रमशः 60:40 के अनुपात में लिए जाते हैं. सेलेक्टिव सैंपल एकत्र करते समय, एसएएस समूह ने किसानों. किरायेदार छात्रों, बेरोजगार युवाओं, सरकारी और सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारियों, निजी क्षेत्र के कर्मचारियों, छोटे व्यवसाय व्यापारियों, वेतन चाहने वालों, गृह निर्माताओं, आरटीसी कर्मचारियों और ऑटो चालकों, आंगनबाडी/आसा/डवाकरा कार्यकर्ता एवं अन्य वर्गों से बातचीत की.
इस बार गिरता दिख रहा बीआरएस का वोट शेयर
2018 के नतीजों की तुलना में इस ओपिनियन पोल में देखा गया कि बीआरएस के वोट शेयर में 4.3 प्रतिशत की गिरावट आ रही है. फिर भी बीआरएस कांग्रेस और भाजपा से आगे निकल रही है. बता दें कि 2018 के चुनावों से पहले, एसएएस समूह ने भविष्यवाणी की थी कि बीआरएस (तब टीआरएस) 85 से 89 सीटें जीतेगी और पार्टी ने 88 सीटें जीती थीं. इसी तरह, उसने कहा था कि कांग्रेस 19 से 20 सीटें हासिल करेगी और पार्टी ने 19 सीटें जीतीं. बीजेपी को एक सीट जीतने की उम्मीद थी और उसे सिर्फ एक सीट पर जीत मिली.
हाल के कर्नाटक चुनावों में भी संगठन के ओपिनियन पोल में अनुमान लगाया गया था कि भाजपा 83 से 84 सीटें जीतेगी और वह 66 सीटों पर जीत हासिल कर सकी। इसी तरह कांग्रेस को 117 से 124 सीटें जीतने की उम्मीद थी और उसने 135 सीटें जीतीं. जद (एस) को 23 से 30 सीटें जीतने की भविष्यवाणी की गई थी और अंत में उसने 19 सीटें जीतीं.
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