सरकार विरोधी प्रदर्शन के बीच ममता बोलीं, BJP और CPM ने भड़काई बंगाल में हिंसा
नई दिल्ली: कोलकाता में बीजेपी की रैली में हुए बवाल को लेकर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि प्रदेश में कोई हिंसा नहीं हुई है. उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी और सीपीएम ने बंगाल में हिंसा भड़काई और पुलिस के साथ-साथ महिलाओं की भी पिटाई की.
BJP और CPM ने भड़काई बंगाल में हिंसा
ममता बनर्जी ने कहा कि पश्चिम बंगाल में कोई हिंसा नहीं है. बीजेपी और सीपीएम ने यहां हिंसा फैलाई है. उन्होंने मोबाइल फोन में दिखाते हुए कहा, ''आप देख सकते हैं कि कैसे वे लोग पुलिस और महिलाओं की पिटाई की है और सरकारी संपत्ति को आग के हवाले कर दिया.''
BJP कार्यकर्ताओं पर दर्ज झूठे केस हटाने के लिए हो रहा था प्रदर्शन
आपको बता दें कि आज कोलकाता में ममता सरकार के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने बीजेपी कार्यकर्ताओं पर लाठीचार्ज कर दिया. इस दौरान बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष और महासचिव कैलाश विजयवर्गीय को पुलिस ने हिरासत में लिया. खबरों के मुताबिक ये प्रदर्शन कार्यकर्ताओं पर दर्ज झूठे केस हटाने के लिए हो रहा था.
राष्ट्रपति चुनाव को लेकर कोई बातचीत नहीं: ममता बनर्जी
इससे पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की. पीएम से मुलाकात के बाद ममता ने कहा, ''राष्ट्रपति चुनाव को लेकर हमारे बीच कोई बातचीत नहीं हुई है. केवल विकास के मुद्दे पर डिस्कशन हुआ.''
कोलकाता: बीजेपी कार्यकर्ता और पुलिस में संघर्ष
‘भ्रष्ट’ तृणमूल कांग्रेस नेताओं की गिरफ्तारी की मांग को लेकर कोलकाता में पुलिस हेडक्वॉर्टर की ओर मार्च निकालने के दौरान बीजेपी कार्यकर्ताओं की पुलिस के साथ झड़प हो गयी. इसके बाद, बीजेपी कार्यकर्ताओं को तितर-बितर के लिये सुरक्षा कर्मियों ने आंसू गैस के गोले छोड़े, पानी की बौछार की और लाठीचार्ज किया.
लाल बाजार इलाके में मुख्यालय की ओर मार्च निकाल रहे बीजेपी कार्यकर्ताओं को ब्रेबॉर्न रोड पर पुलिस ने रोक दिया. इसके बाद बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने आगे जाने से रोकने के लिये लगी बैरकेडिंग को हटाने का प्रयास किया जिसे रोकने के लिए पुलिस ने बल प्रयोग किया. खबरों के मुताबिक बीजेपी के कार्यक्रम को देखते हुये महानगर में विभिन्न जगहों पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया था.
समय से पहले कोलकाता पुलिस मुख्यालय पहुंचे बीजेपी कार्यकर्ता
पुलिस हेडक्वॉर्टरकी तरफ जुलूस निकालने से पहले ही बीजेपी कार्यकर्ताओं के एक समूह ने बस से लालबाजार के पास पहुंचकर पुलिस को चौंका दिया. बीजेपी के करीब 20 कार्यकर्ता नादिया जिले के हरिंगघटा से एक प्राइवेट बस से बिपिन बिहारी गांगुली सड़क पार कर शहर के पुलिस हेडक्वॉर्टर लाल बाजार पहुंच गए. हालांकि, वहां तैनात पुलिस कर्मियों ने उन्हें तुरंत रोका और हिरासत में ले लिया.
मध्य कोलकाता में स्थित लाल बाजार सुबह से ही एक किले में तब्दील हो गया. बीजेपी की रैली को रोकने के लिए फेअर्स लेन, टी बोर्ड ऑफ इंडिया कार्यालय और बेंटिंक स्ट्रीट के जोड़ने वाले तीन प्रमुख रास्तों पर बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किए गए. किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए बैरिकेड्स, गार्ड रेल और करीब 200 सशस्त्र कर्मियों सहित प्रतिरोधी बलों, रैपिड एक्शन फोर्स और कमांडों को तैनात किया गया था.
वामपंथी मार्च में घायल हो गए थे करीब 200 लोग
यह विरोध वामपंथी किसान यूनियन के 'नभाना (राज्य सचिवालय) मार्च' के तीन दिन बाद हो रहा है. वामपंथी मार्च में करीब 200 लोग घायल हो गए थे. इससे पुलिस अब चौकन्नी हो गई है. करीब 20,000 कार्यकर्ताओं की एक बड़ी रैली की हावड़ा स्टेशन से अगुवाई करते हुए बीजेपी राज्य अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा कि यदि पार्टी कार्यकर्ताओं को पुलिस द्वारा कहीं भी रोका गया तो वह वहीं धरना प्रदर्शन शुरू कर देंगे.
क्रूरता, यातना और धमकी अब बर्दाश्त नहीं
दिलीप घोष ने कहा कि हमारा मकसद लालबजार पहुंचना है. यदि पुलिस हमें कहीं रोकती है तो हम वहीं पर धरना प्रदर्शन शुरू कर देंगे. पुलिस अपना काम करेगी और हमारे पार्टी कार्यकर्ता अपना काम करेंगे. उन्होंने कहा कि हम प्रशासन को बताना चाहते हैं कि उनकी क्रूरता, यातना और धमकी को अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
पार्टी के राज्य सभा सांसद रूपा गांगुली ने कहा कि टीएमसी के ‘भ्रष्ट’ नेताओं की गिरफ्तारी की मांग और राज्य में कथित ‘अराजकता’ को लेकर एक ज्ञापन सौंपने के लिए पुलिस मुख्यालय जाना चाहते हैं. उन्होंने पूछा, ‘‘हमें रोकने के लिए इतनी बड़ी संख्या में पुलिस कर्मियों को क्यों तैनात किया गया है.’’