अयोध्याः बाबरी मस्जिद ढहाए जाने की बरसी से पहले अयोध्या में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है. एक शीर्ष अधिकारी ने शनिवार को यह जानकारी दी. यह घटना छह दिसंबर 1992 को हुई थी. अयोध्या के जिलाधिकारी अनुज झा ने बताया कि ‘रेड जोन’ हाई सिक्योरिटी क्षेत्र में आने वाली रामजन्म भूमि के आस-पास सुरक्षा कड़ी कर दी गई है और इसके नजदीक स्थित अन्य मुख्य धार्मिक स्थलों की भी कड़ी निगरानी की जा रही है.
उन्होंने कहा, ''हमने फैसला आने तक शहर और जिले के अन्य हिस्सों में कड़ी सतर्कता बरती थी और बाबरी (मस्जिद) ढहाए जाने की बरसी (छह दिसंबर) तक सुरक्षा व्यवस्था कड़ी रहेगी.'' उन्होंने कहा, ''हमारी अगली चुनौती छह दिसंबर को शांति और सद्भाव बनाए रखने की होगी. मुझे उम्मीद है कि अयोध्या के लोग परिपक्वता दिखाएंगे क्योंकि वे शांतिप्रिय हैं.''
कड़ी सुरक्षा के बीच आज हुई जुमे की नमाज
जिलाधिकारी ने बताया कि आठ नवंबर को धारा 144 लगाई गई थी जो 28 दिसंबर तक जारी रहेगी. राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अयोध्या में पहली बार मुसलमानों ने शुक्रवार को कड़ी सुरक्षा के बीच जुमे की नमाज अदा की.
जिलाधिकारी ने बताया, ''शुक्रवार को शहर की विभिन्न मस्जिदों में लोगों ने नमाज अदा की. आज सुरक्षा बढ़ाई गई थी और यह आने वाले दिनों में भी यह जारी रहेगी. सब कुछ शांतिपूर्ण रहा.'' उन्होंने कहा कि अयोध्या शहर या जिले में किसी भी अप्रिय घटना की सूचना नहीं है.
गौरतलब है कि करीब एक सदी पुराने विवाद पर सुप्रीम कोर्ट की एक संविधान पीठ ने नौ नवंबर को अपना फैसला सुनाया था. सुप्रीम कोर्ट ने अयोध्या के विवादित स्थान पर ट्रस्ट के जरिये राम मंदिर बनाने का मार्ग प्रशस्त कर दिया. वहीं, मस्जिद बनाने के लिए इस पवित्र नगरी में मुसलमानों को पांच एकड़ जमीन उपलब्ध कराने का भी निर्देश दिया.
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