प. बंगाल के राज्यपाल पर TMC सांसद का तंज, कहा- पद के लिए संविधान की बुनियादी समझ जरूरी
पश्चिम बंगाल में राज्यपाल और प्रदेश सरकार के बीच कोरोनावायरस से निपटने के मुद्दे पर लगातार विवाद जारी है. सीएम ममता बनर्जी भी राज्यपाल पर काम में दखल का आरोप लगा चुकी हैं.
पश्चिम बंगाल में प्रदेश सरकार और राज्यपाल के बीच तनातनी लगातार जारी है. इसी तनातनी के बीच सत्तारूढ़ दल तृणमूल कांग्रेस की लोकसभा सांसद महुआ मोइत्रा ने राज्यपाल जगदीश धनखड़ पर तंज कसा है. उन्होंने कहा कि देश में राज्यपाल के पद पर नियुक्ति के लिए संविधान की बुनियादी समझ जरूरी होनी चाहिए.
टीएमसी सांसद ने एक ट्वीट किया जिसमें कहा कि राज्यपाल की नियुक्ति के लिए कुछ जरूरतें होनी चाहिए. अपने ट्वीट में उन्होंने लिखा, “परिस्थितिः पश्चिम बंगाल में राज्यपाल की एक पोस्ट खाली. जरूरी योग्यता- 1. संविधान की बुनियादी समझ 2. पद की गरिमा रखने की क्षमता और बेवजह न बोलने की आदत 3. दैनिक जीवन में राजनीतिक मालिक की चापलूसी किए बिना थोड़ा बहुत आत्मसम्मान”
न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक राजभवन की ओर से इस पर फिलहाल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है. हालांकि प्रदेश बीजेपी ने इस ट्वीट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि सरकार और टीएमसी लगातार संवैधानिक पद का अपमान कर रहे हैं.
पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा, “राज्यपाल उचित बातें कर रहे हैं इसलिए टीएमसी इसे बर्दाश्त नहीं कर पा रही है और लगातार राज्यपाल का अपमान कर रही है और साथ ही पद को नीचा दिखाने का प्रयास कर रही है. हम राज्यपाल के खिलाफ इस तरह के बयानों की निंदा करते हैं.”
राज्यपाल-प्रदेश सरकार में आरोप-प्रत्यारोप
प्रदेश सरकार और राज्यपाल के बीच लगातार कोरोनावायरस से निपटने के साथ ही कई मुद्दों पर विवाद चल रहा है. राज्यपाल ने कुछ दिनों पहले कहा था कि राज्य को निजी संपत्ति की तरह नहीं चलाया जा सकता.
वहीं सीएम ममता बनर्जी ने राज्यपाल धनखड़ पर प्रदेश सरकार के कामकाज में लगातार दखल देने का आरोप लगाया था.
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