Detergent In Fast Food: इन फास्ट फूड में होता है डिटर्जेंट का इस्तेमाल, रिपोर्ट में हुआ खुलासा
Detergent In Fast Food: साप्ताहिक जर्नल ऑफ एक्सपोजर साइंस एंड एनवायरनमेंटल एपिडेमियोलॉजी में प्रकाशित अध्ययन के मुताबिक, कुछ फास्ट फूड जैसे पिज्जा, बर्गर में डिटर्जेंट का इस्तेमाल किया जाता है.
Detergent In Fast Food: आप भी फास्ट फूड खाने के शौकीन हैं तो सावधान हो जाइए. स्वास्थ्य विशेषज्ञ अक्सर फास्ट फूड सेवन न करने की सलाह देते हैं और अब एक नया अध्ययन कुछ चौंकाने वाले निष्कर्षों के साथ आया है जो ये बताता है कि वास्तव में पिज्जा, बर्गर या कोई अन्य फास्ट फूड हानिकारक क्यों हो सकते हैं. साप्ताहिक जर्नल ऑफ एक्सपोजर साइंस एंड एनवायरनमेंटल एपिडेमियोलॉजी में प्रकाशित अध्ययन के मुताबिक, कुछ फास्ट फूड जैसे पिज्जा, बर्गर में डिटर्जेंट का इस्तेमाल किया जाता है.
'फाथलेट्स' नाम का केमिकल बेहद खतरनाक
साप्ताहिक जर्नल ऑफ एक्सपोजर साइंस एंड एनवायरनमेंटल एपिडेमियोलॉजी में प्रकाशित अध्ययन में कई नामी रेस्तरां चेन द्वारा खाद्य पदार्थों में 'फाथलेट्स' (Phthalates)नाम का एक पदार्थ पाया गया जो प्लास्टिक को नरम रखता है. 'फाथलेट्स' का उपयोग मुख्य रूप से लचीलेपन, स्थायित्व और दीर्घायु को बढ़ाने के लिए प्लास्टिक में जोड़े जाने वाले प्लास्टिसाइज़र के रूप में किया जाता है. इनका उपयोग विनाइल फ्लोरिंग, लुब्रिकेटिंग ऑयल, साबुन, हेयर स्प्रे, लॉन्ड्री डिटर्जेंट आदि सहित कई उत्पादों में किया जाता है.
64 नमूनों की हुई जांच
अमेरिका की जॉर्ज वॉशिंगटन यूनिवर्सिटी, साउथवेस्ट रिसर्च इंस्टीट्यूट (सैन एंटोनियो, टेक्सास), बोस्टन यूनिवर्सिटी और हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने कुछ नामी आउटलेट्स से लिए गए बर्गर, फ्राइज़, चिकन नगेट्स, चिकन बुरिटोस और चीज़ पिज्जा के 64 नमूनों की जांच की. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, 80 प्रतिशत से अधिक भोजन में DnBP नामक एक फ़ेथलेट पाया गया और 70 प्रतिशत में फ़ेथलेट DEHT था. डीईएचटी एक प्लास्टिसाइज़र है जिसे कर्मचारियों और भोजन दोनों में अधिक जहरीले रसायनों को बदलने के लिए पेश किया गया. इसका उपयोग बोतल के ढक्कन, कन्वेयर बेल्ट, फर्श सामग्री और जलरोधक कपड़ों में किया जाता है.
'फाथलेट्स' का बच्चों पर प्रभाव
अध्ययन में शोधकर्ताओं ने उल्लेख किया है कि ये बच्चों पर काफी गहरा प्रभाव डालते हैं. बच्चों के सीखने, ध्यान और व्यवहार संबंधी समस्याओं में इजाफे के लिए ये जिम्मेदार हो सकते हैं. इसके साथ ही यह गर्भवती महिलाओं को भी प्रभावित कर सकता है. हालांकि, शोधकर्ताओं का कहना है कि अध्ययन अभी सीमित हैं और ये खाद्य पदार्थ केवल एक शहर से आए हैं. दूसरी ओर खाद्य एवं औषधि प्रशासन (एफडीए) ने कहा है कि वह अध्ययन की समीक्षा करेगा.
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