नई दिल्ली: दिल्ली में सीलिंग के मुद्दे पर मचा बवाल थमनें का नाम ही नहीं ले रहा है. दिल्ली में चल रही सीलिंग को लेकर व्यापारियों और मार्केट एसोसिएशनों के बीच विरोध लगातार बढ़ता ही जा रहा है. व्यापारियों के शीर्ष संगठन चैम्बर ऑफ ट्रेड एंड इंडस्ट्री ( सीटीआई ) ने सीलिंग के विरोध में 72 घंटे के दिल्ली बंद की घोषणा की है. इस तरह दो, तीन और चार फरवरी को दिल्ली का व्यापार पूरी तरीके से बंद रहेगा.


सीटीआई के कन्वीनर बृजेश गोयल और हेमन्त गुप्ता ने कहा कि कॉन्सीट्युशन क्लब में व्यापारियों की महापंचायत का आयोजन किया गया था जिसमें सीलिंग को लेकर लोगों में जबरदस्त गुस्सा था. उन्होंने कहा, "व्यापारियों ने मांग कि की एक या दो दिन के बंद से कुछ नहीं होता है, बंद या तो अनिश्चितकालीन हो या कम से कम 3 दिन का हो." सभी व्यापारियों ने सामूहिक रूप से निर्णय लिया कि दो, तीन और चार फरवरी को 72 घंटे के लिए पूरे दिल्ली के बाजार एकदम बंद रहेंगे. इस बंद को 750 ट्रेड एसोसिएशन्स ने समर्थन दिया है.


चांदनी चौक , सदर बाजार , चावड़ी बाजार , खारी बावली , नया बाजार , भागीरथ प्लेस , कनोट प्लेस , लाजपतराय मार्केट समेत दिल्ली के तमाम छोटे बड़े बाजार 3 दिन बंद रहेंगे. सीटीआई के वरिष्ठ उपाध्यक्ष प्रदीप गुप्ता और महासचिव राकेश यादव ने बताया कि दो तारीख को सभी व्यापारी टाउन हॉल चांदनी चौक पर , तीन फरवरी को सदर बाजार पर इकट्ठा होकर धरना प्रदर्शन करेंगे. वहीं चार फरवरी को सभी व्यापारी महात्मा गांधी जी की समाधि पर जाकर प्रार्थना करेंगे कि सीलिंग से जल्द राहत दी जाए.


सीटीआई का कहना है कि पिछले एक महीने में हम एमसीडी, दिल्ली सरकार और सुप्रीम कोर्ट की मॉनिटरिंग कमेटी से भी मिल चुके हैं लेकिन इस समस्या का समाधान केवल केन्द्र सरकार के पास है. हम केन्द्र सरकार से मांग करते हैं कि तुरन्त एक बिल या अध्यादेश लाकर सीलिंग की कार्रवाई को तुरन्त रोका जाए और मास्टर प्लान एक्ट में बदलाव किया जाये और साथ में एफएआर बढाया जाए.


वहीं दूसरी तरफ आम आदमी पार्टी और बीजेपी के बीच सीलींग के मुद्दे को लेकर विवाद बढ़ता जा रहा है. केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा है कि दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) मास्टर प्लान 2021 में संशोधन की प्रक्रिया में है ताकि व्यापारियों को राष्ट्रीय राजधानी में चल रही सीलिंग की प्रक्रिया से राहत दिलाई जा सके.


 


इस पर आप प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज ने ट्वीट किया कि सीलिंग का समाधान केंद्र सरकार के पास है लेकिन उसकी मंशा नहीं है. बीजेपी दिल्ली सरकार पर दोष मढ़कर लोगों को गुमराह कर रही है. अब बीजेपी की कलई खुल गई है. भारद्वाज ने ट्वीट में लिखा, "आम आदमी पार्टी दो महीने से कह रही है- सीलिंग रोकी जा सकती थी, केंद्र सरकार रोक सकती थी. नीयत ख़राब थी. आज दूध का दूध, पानी का पानी हो गया." हालांकि आम आदमी पार्टी और व्यापारी संगठन दोनों ये बात कह रहे हैं कि सीलिंग के मुद्दे का हल केवल केन्द्र सरकार के पास है.