Tipra Motha: त्रिपुरा में टिपरा मोथा की शानदार जीत के सूत्रधार कौन हैं? मिलिए पीके के पूर्व सहयोगी प्रसून कुमार से
Prasoon Kumar: त्रिपुरा विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद जिसने सबसे ज्यादा लोगों को चौंकाया वो थी प्रद्योत माणिक्य की पार्टी टिपरा मोथा. ये राज्य की दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी.
Tipra Motha Win In Tripura: पूर्वोत्तर के राज्यों में हाल में संपन्न हुए विधानसभा चुनावों की चर्चा तो थी लेकिन सबसे ज्यादा चर्चा अगर किसी ने बटोरी तो वो थी त्रिपुरा की टिपरा मोथा पार्टी. वो इसलिए क्योंकि टिपरा मोथा सिर्फ दो साल पुरानी पार्टी है और उसने राज्य में बीजेपी के बाद सबसे ज्यादा सीटें जीतकर दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी.
त्रिपुरा के शाही परिवार से ताल्लुक रखने वाले प्रद्योद माणिक्य देबबर्मन ने आदिवासियों के लिए अलग राज्य की मांग करते हुए आदिवासी आधारित पार्टी टिपरा मोथा का गठन किया और इसने राजनीतिक इतिहास रच दिया. इस पार्टी की चुनावों में एंट्री भी धमाकेदार रही. इसके ऑनलाइन और ऑफलाइन प्रमोशन ने तहलका मचा दिया था. क्या आप जानते हैं कि भले ही सामने से प्रद्योत माणिक्य ने पार्टी का प्रचार करके एक बड़ी पार्टी बना दिया लेकिन इसके पीछे दिमाग किसका था?
प्रसून कुमार हैं सूत्रधार
पार्टी के शानदार अभियान के पीछे एक युवा दिमाग काम कर रहा था. जिसने बड़ी-बड़ी पार्टियों को टक्कर देने के लिए टिपरा मोथा के साथ काम किया. ये युवा शख्स और कोई नहीं बल्कि प्रशांत किशोर उर्फ पीके के पुराने सहयोगी रहे प्रसून कुमार हैं. सिविल इंजीनियरिंग में ग्रेजुएशन किए प्रसून साल 2022 से ही प्रद्योत के साथ फुल टाइम काम कर रहे थे. हालांकि देश के दूसरे राजनीतिक रणनीतिकारों की तरह उनकी अपनी कोई एजेंसी या संगठन नहीं है. प्रद्योत माणिक्य उन्हें अपना एकमात्र राजनीतिक सहयोगी बताते हैं.
प्रसून कुमार का बैकग्राउंड
प्रसून कुमार ने एक रियल एस्टेट फर्म के साथ एक स्ट्रैटेजी और मैनेजमेंट कंसल्टिंग प्रोफेशनल के रूप में अपना करियर शुरू किया, लेकिन 2018 में उन्होंने राजनीति और पब्लिक पॉलिसी के लिए अपने पैशन को फॉलो करने का फैसला किया और अपने गृह राज्य बिहार लौट गए. साल 2019 के प्रसून आंध्र प्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए प्रशांत किशोर की राजनीतिक परामर्श फर्म इंडियन पॉलिटिकल एक्शन कमेटी (I-PAC) में शामिल हो गए जहां उन्होंने YS जगन मोहन रेड्डी के लिए काम किया.
इसके बाद प्रशांत किशोर ने उन्हें बिहार में उनके साथ काम करने के लिए चुना, जब वह जनता दल (यूनाइटेड) के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के रूप चुने गए थे.. जल्द ही, उन्हें बिहार I-PAC इकाई के राज्य प्रमुख के रूप में कार्यभार संभालने के साथ-साथ प्रशांत किशोर के पूरे कार्यालय के प्रबंधन की जिम्मेदारी दे दी गई.
पीके और प्रसून हुए अलग
साल 2020 में, उन्हें पश्चिम बंगाल में I-PAC के तृणमूल कांग्रेस अभियान के लिए समर्पित आउटरीच अभियान डिजाइन करने का काम दिया गया लेकिन, बाद में उसी साल, उन्होंने I-PAC से अलग होने और देश में युवा राजनीतिक नेताओं और राजनीतिक दलों के साथ काम करने का फैसला किया. प्रसून कुमार 2021 में टीटीएएडीसी चुनावों के दौरान प्रद्योत माणिक्य के संपर्क में आए थे और मार्च 2022 से उन्होंने उनकी पार्टी के लिए काम करना शुरू किया.
इसके बाद उन्होंने युवा प्रोफेशनल्स की एक टीम बनाई और पार्टी के कैंपेन के लिए मेडिकल और डिजिटल कम्यूनिकेशन नाम की यूनिट सेटअप की. टिपरा मोथा पार्टी के इलेक्शन वॉर रूम में काम करने वाले सभी युवा लड़के और लड़कियां ज्यादातर फ्रेशर थे.