नई दिल्ली: कैबिनेट विस्तार की कवायद के बीच जहां एक तरफ नए मंत्रियों के नाम को लेकर चर्चा तेज हो गई है. तो वहीं दूसरी तरफ मौजूदा मंत्रियों के इस्तीफे का दौर भी शुरू हो गया है. इसी कड़ी में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन के भी इस्तीफे की खबर है.
इसके अलावा कुछ और मंत्रियों के इस्तीफे की जानकारी सामने आयी है. इनमें प्रताप सारंगी, सदानंद गौड़ा, निशंक पोखरियाल, देबाश्री चौधरी, संतोष गंगवार, थावर चंद गहलोत, संजय धोत्रे और रतन लाल कटारिया का नाम शामिल है.
बता दें कि कोरोना काल के दौरान एक तरफ जहां केंद्र सरकार अच्छी व्यवस्थाका दावा करती रही तो वहीं विपक्ष सरकार पर हमलावर रहा. खासकर दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन, इलाज की कमी और उसके बाद धीमे टीकाकरण को लेकर भी डॉ. हर्षवर्धन विपक्ष के निशाने पर रहे.
माना जा रहा है कि इन्हीं सब कारणों के चलते और विपक्ष और जनता के एक कड़ा संदेश देने के लिए डॉ. हर्षवर्धन से इस्तीफा लिया गया है. नए मंत्रिमंडल में स्वास्थ्य मंत्री की जगह कौन लेगा इसे लेकर अभी कुछ भी स्पष्ट नहीं है.
कांग्रेस ने हर्षवर्धवन को बताया बलि का बकरा
हर्षवर्धन के इस्तीफे पर कांग्रेस ने मोदी सरकार पर निशाना साधा है. पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने उन्हें बलि का बकरा बताया है. जयराम रमेश ने ट्वीट किया, ''बेचारे डॉ. हर्षवर्धन, एक अच्छे इंसान को उच्चतम स्तर पर स्मारकीय विफलताओं के लिए बलि का बकरा बनाया गया है. और कहीं नहीं.''
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