देश में कोरोना के खिलाफ जंग का हुआ आगाज, पढ़ें- टीकाकरण कार्यक्रम से जुड़ी A To Z जानकारी
देश में आज कोरोना वैक्सीन लगाने का काम शुरू हो गया है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए इसकी शुरुआत की है. टीकाकरण को लेकर लोगों के मन में कई तरह के सवाल उठ भी उठ रह हैं. ऐसे में वैक्सीनेशन से जुड़ी चीजों का जानना आवश्यक हो जाता है.
नई दिल्लीः देश में आज कोरोना वैक्सीन लगाने का काम शुरू हो गया है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए इसकी शुरुआत की है. पहले दिन देश के तीन लाख से ज्यादा हेल्थ वर्कर्स को कोविड-19 के टीके की खुराक दी जाएगी. टीकाकरण को लेकर लोगों के मन में कई तरह के सवाल उठ भी उठ रह हैं कि यह अभियान कैसे चलेगा, कितने सेंटर हैं, कितने दिन चलेगा आदि. ऐसे में टीकाकरण से जुड़ी तमाम चीजें जानना आवश्यक हो जाता है.
बनाया गया है कोविड कंट्रोल रूम केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के निर्माण भवन परिसर में कोविड कंट्रोल रूम बनाया गया है. देश के सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में कुल 3006 वैक्सीनेशन साइट्स हैं जो एक्सरसाइज के दौरान वर्चुअली जुड़ी रहेंगी.
कोविड -19 टीकाकरण फिलहाल केवल 18 वर्ष और उससे अधिक आयु के लोगों को दी दिया जाएगा और हर डोज 0.5 मिलीलीटर का होगा.आज हर साइट पर लगभग 100 लोगों का टीकाकरण किया जाएगा और टीकाकरण के पहले चरण के कुछ महीनों में पूरा होने की संभावना है. वहीं, टीकाकरण सेशन सुबह 9 से शाम 5 बजे तक का होगा.
24 घंटे उपलब्ध रहेगा हेल्पलाइन नंबर सरकार ने वैक्सीन रोलआउट और को-विन सॉफ्टवेयर से संबंधित जानकारीके लिए एक 24X7 हेल्पलाइन नंबर 1075 भी बनाया है.इसके साथ ही सरकार ने दोनों डोज एक ही वैक्सीन की देने का फैसला किया है. दूसरी डोज भी उसी कोविड -19 वैक्सीन की होनी चाहिए जिसे पहली खुराक के रूप में दिया गया है. अलग-अलग वैक्सीन की डोज नहीं दी जाएंगी.
फिलहाल इन समूहों को नहीं दी जाएगी वैक्सीन सरकार ने कुछ लोगों को फिलहाल वैक्सीन नहीं देने का निर्णय लिया है. इनमें एलर्जी रिएक्शन वाले व्यक्ति, वैक्सीन या इंजेक्शन, फार्मास्यूटिकल्स उत्पादों और खाद्य पदार्थों से एलर्जी रिएक्शन, गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाएं शामिल हैं.इन स्थितियों में वैक्सीन नहीं लगेगी कई स्थितियों में कोविड वैक्सीन को रिकवरी के बाद 4-8 सप्ताह के लिए स्थगित किया जाना है. इनमें कोविड- 19 संक्रमण के एक्टिव लक्षणों वाले व्यक्ति और वे कोविड रोगी शामिल हैं जिन्हें मोनोक्लोनल एंटीबॉडी या प्लाज्मा थेरेपी दी गई है. इसके साथ ही किसी भी बीमारी के कारण अस्वस्थ होने और अस्पताल में भर्ती मरीज को भी वैक्सीन नहीं दी जाएगी.
ये रहेगा डोज का शेड्यूल वैक्सीन की दो खुराक होंगी जो 28 दिनों के अंतराल पर दी जाएंगी. वैक्सीन की प्रभावशीलता दूसरी खुराक प्राप्त करने के 14 दिनों के बाद से शुरू होगी.
वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट टीका लगने के बाद वैक्सीन लगवाने वाले शख्स को एक डिजिटल सर्टिफिकेट (क्यूआर कोड के साथ) प्राप्त होगा.• यह दूसरी खुराक देने के लिए उसे याद दिलाने में मदद करेगा. साथ ही यह सरकार को यह जानने में मदद करेगा कि किसने खुराक प्राप्त की है. दूसरी खुराक के बाद एक फाइनल डिजिटल प्रमाण पत्र जनरेट किया जाएगा.
दुनिया का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान यह कोरोना वायरस बीमारी के खिलाफ दुनिया का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान है. यह विशाल पैमाने पर चलने वाला भारत का पहला वयस्क टीकाकरण कार्यक्रम भी है.सबसे पहले वैक्सीन किसको मिलेगी सबसे पहले वैक्सीन 3 करोड़ हेल्थ और दूसरे फ्रंटलाइन वर्कर्स को दिया जाएगा. इनमें स्वास्थ्य कर्मचारियों की संख्या करीब 1 करोड़ है और फ्रंटलाइन वर्कर्स की संख्या 2 करोड़ के लगभग है. इसके बाद 50 साल या उससे ज्यादा आयु के लोगों और हाई रिस्क वाले लोगों को मिलाकर लगभग 27 करोड़ लोगों को वैक्सीन दी जाएगी.
कौनसी वैक्सीन का होगा इस्तेमाल आपातकालीन उपयोग के लिए सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की कोविशील्ड और भारत बायोटेक की कोवैक्सीन का इस्तेमाल किया जाएगा. ड्रग रेगुलेटर ने 3 जनवरी को इनको मंजूरी दी थी.
सरकार के लिए क्या है वैक्सीन की लागत सरकार ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया 200 रुपए प्रति डोज की लागत से 1.1 करोड़ कोविशील्ड वैक्सीन खरीदी है. वहीं, भारत बायोटेक से 206 रुपए प्रति डोज के हिसाब से 55 लाख कोवैक्सीन खरीदी हैं. इसके साथ ही पहले चरण में हेल्थ वर्कर्स और फ्रंटलाइन वर्कर्स के टीकाकरण का खर्च केंद्र सरकार उठाएगी.
टीकाकरण के लिए लोगों को प्रशिक्षण टीकाकरण के लिए लोगों को प्रशिक्षण देने के लिए राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के साथ 26 वर्चुअल बैठक की गई. ट्रैनिंग के लिए 2,360 मास्टर ट्रेनर शामिल हुए और प्रोग्राम्स में 2 लाख वैक्सीनेटर ने भाग लिया. 3.7 लाख अन्य वैक्सीनेटर टीम सदस्य अब तक प्रशिक्षित किए गए हैं.
वैक्सीन का स्टोरेज वैक्सीन स्टोर करने के लिए देश में करनाल, मुंबई, चेन्नई और कोलकाता में गर्वमेंट मेडिकल स्टोर डिपो (GMSD) नाम से 4 प्राइमरी वैक्सीन स्टोर बनाए गए हैं और 37 स्टेट वैक्सीन स्टोर बनाए हैं. प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में वैक्सीन भेजने जिम्मेदारी राज्यों को दी गई है.
कोविड वैक्सीन कैसे लगेगी और किन बातों का ख्याल रखना होगा? एक क्लिक में जानें पूरी जानकारी