भारत और चीन के सैनिकों के बीच सिक्किम की सीमा पर हाल ही में हुई झड़प के बीच संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने उम्मीद जतायी है कि दोनों देशों में उत्पन्न तनाव को बातचीत के जरिए कम किया जाएगा. एक प्रवक्ता ने यह जानकारी दी. बता दें कि भारत और चीनी सैनिकों के बीच 20 जनवरी को उत्तरी सिक्किम के ऊंचाई वाले नाकू सेक्टर में झड़प हुई हो गई थी. भारतीय सेना ने इसे ‘‘मामूली तनातनी’’ बताया था. भारतीय सेना ने एक बयान में कहा था कि इसे निर्धारित दिशा-निर्देशों के तहत स्थानीय कमांडरों द्वारा सुलझा लिया गया.


संयुक्त राष्ट्र प्रमुख के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने सोमवार को दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘ हम उम्मीद करते हैं कि सीमा पर जारी तनाव बातचीत के जरिए कम हो जाए.’’ दुजारिक से पूछा गया था कि क्या ‘‘भारत-चीन सीमा पर हुई हालिया झड़प’’ पर संयुक्त राष्ट्र सचिव या महासचिव कोई टिप्पणी करना चाहते हैं.


दोनों देशों के सैनिकों के बीच हुई थी मामूली झड़प


भारतीय सेना के आधिकारिक बयान के मुताबिक, 5 दिन पहले 20 जनवरी को दोनों देशों के सैनिकों के बीच मामूली झड़प हुई थी जिसे दोनों देशों के कमांडर्स के बीच स्थानीय लेवल पर ही सुलझा लिया गया. नाकुला सेक्टर में यह वही जगह है जहां पिछले मई महीने में 9 तारीख को दोनों देशों की सेनाओं के बीच झड़प हुई थी. इस बीच नाकुला झड़प को लेकर ग्लोबल टाइम्स की ओर से कहा गया है कि कोई झड़प हुई ही नहीं है. उसका कहना है चीनी सैनिकों के घायल होने की बात भी गलत है.


दोनों देशों में  15 जून 2020 को हुई थी हिंसक झड़प 


इससे पहले 15 जून 2020 को गलवान घाटी में भारत और चीन के सैनिकों में हिंसक झड़प हुई थी, जिसमें भारत के 20 जवान शहीद हो गए थे. वहीं चीन ने अपने सैनिकों के हताहत होने का कोई आंकड़ा जारी नहीं किया था. चीन की सेना ने 14 जून को एलएसी पर दोबारा कैम्प बनाया था. इस पर आपत्ति जताने के लिए कर्नल संतोष बाबू 40 जवानों के साथ दुश्मन सेना के कैम्प में गए थे. शहीद जवानों में कमांडिंग ऑफिसर कर्नल बी संतोष बाबू सहित 12 जवान 16 बिहार रेजिमेंट से थे.


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