West Bengal SSC Scam Case: पश्चिम बंगाल शिक्षक भर्ती घोटाला में अभी छानबीन जारी है. इस बीच पश्चिम बंगाल के गिरफ्तार मंत्री पार्थ चटर्जी (Partha Chatterjee) और उनकी करीबी अर्पिता मुखर्जी (Arpita Mukherjee) को मेडिकल जांच (Medical Examination) के लिए अस्पताल लाया गया है. कोलकाता (Kolkata) के ईएसआई अस्पताल (ESI Hospital) में दोनों को मेडिकल जांच के लिए लाया गया है. प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने मंत्री की करीबी अर्पिता मुखर्जी के घर से 21 करोड़ रुपये कैश बरामद किया था. जिसके बाद ईडी के अधिकारियों ने अर्पिता से कई घंटे तक पूछताछ भी की थी. बाद में मंत्री पार्थ चटर्जी और अर्पिता मुखर्जी को गिरफ्तार कर लिया गया था.
कोर्ट के आदेश के अनुसार हर 48 घंटे के बाद उनका मेडिकल चेकअप किया जाना चाहिए. पार्थ चटर्जी और अर्पिता मुखर्जी तीन अगस्त तक ईडी की हिरासत में हैं.
मेडिकल जांच के लिए ESI अस्पताल लाए गए
पश्चिम बंगाल के मंत्री पार्थ चटर्जी और उनकी करीबी अर्पिता मुखर्जी को कोर्ट के आदेश के मुताबिक फिर से मेडिकल जांच के लिए ईएसआई अस्पताल लाया गया है. इससे पहले सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय ने दोनों को अदालत में पेश किया था, जहां से दोनों को ईडी की कस्टडी में भेज दिया गया था. अदालत में ईडी की तरफ से कहा गया था कि ये गंभीर मामला है और इसमें पूछताछ जरूरी है. ईडी ने पार्थ चटर्जी और अर्पिता मुखर्जी की 14 दिन की हिरासत की मांग की थी.
विधायक माणिक भट्टाचार्य से भी पूछताछ
उधर, टीएमसी विधायक माणिक भट्टाचार्य बुधवार सुबह शहर में प्रवर्तन निदेशालय के दफ्तर में पहुंचे. शिक्षक भर्ती घोटाले में उनकी कथित संलिप्तता के बारे में पूछताछ का सामना करने के लिए समय से पहले उन्हें खुद को पेश करने के लिए कहा गया था. भट्टाचार्य नदिया जिले के पलाशीपारा से विधायक हैं और पश्चिम बंगाल माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष हैं. माणिक भट्टाचार्य को दोपहर 12 बजे साल्ट लेक में सीजीओ परिसर में ईडी कार्यालय में उपस्थित रहने के लिए कहा गया था, लेकिन वह सुबह 10 बजे वहां पहुंच गए थे.
शिक्षक भर्ती घोटाले में फंसे पार्थ चटर्जी!
पश्चिम बंगाल के मंत्री पार्थ चटर्जी (Partha Chatterjee) वर्तमान में सरकारी सहायता प्राप्त स्कूलों में शिक्षकों और कर्मचारियों की भर्ती के संबंध में ईडी की हिरासत में हैं. बता दें कि 2014 में शिक्षक पात्रता परीक्षा (TET) के माध्यम से शिक्षकों की नियुक्ति में कथित अनियमितता का मामला सामने आया था. कलकत्ता हाईकोर्ट ने 2014 की प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) की सीबीआई जांच का आदेश दिया था और परीक्षा के माध्यम से भर्ती किए गए 269 लोगों को बर्खास्त कर दिया था. चटर्जी तब राज्य के शिक्षा मंत्री थे. ईडी (ED) ने कुछ दिन पहले शिक्षक भर्ती घोटाले की जांच के दौरान पार्थ चटर्जी के घर पर छापा मारा था.
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