नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट बीजेपी को पश्चिम बंगाल में रथयात्रा की अनुमति नहीं देने के कलकत्ता हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ पार्टी की याचिका पर सात जनवरी को सुनवाई करने पर गुरुवार को सहमत हो गया. चीफ जस्टिस रंजन गोगोई और जस्टिस एस के कौल की पीठ के समक्ष मामले का तत्काल सुनवाई के लिए उल्लेख किया गया था. पीठ ने सात जनवरी को इस पर सुनवाई के लिए सहमति व्यक्त की.
पार्टी की राज्य इकाई ने 'लोकतंत्र बचाओ रैली' निकालने की अनुमति लेने के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. यह रैली साल 2019 आम चुनाव से पहले राज्य के 42 संसदीय क्षेत्रों से होकर निकाली जाएगी. हाईकोर्ट की एक खंडपीठ ने रथयात्रा की अनुमति देने संबंधी एकल न्यायाधीश का आदेश 21 दिसंबर को निरस्त कर दिया था जिसे बीजेपी ने चुनौती दी थी.
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याचिका में कहा गया है कि पार्टी को शांतिपूर्ण तरीके से यात्रा का आयोजन करने के उसके मौलिक अधिकार से वंचित नहीं किया जा सकता. मूल कार्यक्रम के तहत बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह बंगाल के कूच बिहार जिले से सात दिसंबर को इस रथ यात्रा की शुरूआत करने वाले थे. इसके बाद यह रथयात्रा नौ दिसंबर को दक्षिणी 24 परगना के काकद्वीप और 14 दिसंबर को बीरभूम में तारापीठ मंदिर से शुरू होनी थी.
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