Mansukh Mandaviya Statement: विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने बुधवार को भारत बायोटेक की वैक्सीन कोवैक्सीन को आपात इस्तेमाल की मंजूरी दे दी. WHO के इस फैसले के बाद अब कोवैक्सीन लेने वाले लोग बिना रोक-टोक के विदेश यात्रा कर सकेंगे. कोवैक्सीन को मंजूरी मिलने के बाद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ मनसुख मंडाविया ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ की और कहा कि यह आत्मनिर्भर भारत की दिवाली है.


मनसुख मंडाविया ने ट्वीट किया, यह समर्थ नेतृत्व की निशानी है, यह मोदी जी के संकल्प की कहानी है, यह देशवासियों के विश्वास की ज़ुबानी है, यह आत्मनिर्भर भारत की दिवाली है.' स्वास्थ्य मंत्री ने WHO का भी धन्यवाद किया है. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा, धन्यवाद WHO कोवैक्सीन को आपातकालीन उपयोग सूची प्रदान करने के लिए.






इससे पहले डब्ल्यूएचओ के तकनीकी परामर्शदाता समूह ने कोवैक्सीन को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध’ (ईयूएल) का दर्जा देने की सिफारिश की थी. डब्ल्यूएचओ ने ट्वीट किया, ‘डब्ल्यूएचओ ने कोवैक्सीन (भारत बायोटेक द्वारा विकसित) टीके को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किया है. इस तरह कोविड-19 की रोकथाम के लिए डब्ल्यूएचओ द्वारा मान्यता प्राप्त टीकों की संख्या में इजाफा हुआ है.’


डब्ल्यूएचओ दक्षिण पूर्व एशिया की क्षेत्रीय निदेशक डॉ पूनम खेत्रपाल सिंह ने ट्वीट किया, ‘भारत को उसके स्वदेश विकसित कोविड-19 रोधी टीके कोवैक्सीन को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किये जाने के लिए बधाई.’ डब्ल्यूएचओ की घोषणा से पहले एक सूत्र ने पीटीआई को बताया था, ‘डब्ल्यूएचओ के तकनीकी परामर्शदाता समूह ने कोवैक्सीन को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध का दर्जा देने की सिफारिश की है.


पीएम मोदी और WHO के महानिदेशक की हुई थी मुलाकात


तकनीकी परामर्शदाता समूह ने 26 अक्टूबर को टीके को आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध करने के लिहाज से अंतिम ‘जोखिम-लाभ मूल्यांकन’ करने के लिए कंपनी से अतिरिक्त स्पष्टीकरण मांगे थे. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल में जी20 शिखर सम्मेलन में डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक डॉ टेड्रस अधानम घेब्रेयेसस से मुलाकात की थी.


डब्ल्यूएचओ का तकनीकी परामर्शदाता समूह एक स्वतंत्र सलाहकार समूह है जो डब्ल्यूएचओ को यह सिफारिश करता है कि क्या किसी कोविड-19 रोधी टीके को ईयूएल प्रक्रिया के तहत आपात उपयोग के लिए सूचीबद्ध किया जा सकता है या नहीं. कोवैक्सीन ने लक्षण वाले कोविड-19 रोग के खिलाफ 77.8 प्रतिशत प्रभाव दिखाया है और वायरस के नये डेल्टा स्वरूप के खिलाफ 65.2 प्रतिशत सुरक्षा दर्शाई है. कंपनी ने जून में कहा था कि उसने तीसरे चरण के परीक्षणों से कोवैक्सीन के प्रभाव का अंतिम विश्लेषण समाप्त किया है.


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