नई दिल्ली: क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत सिंह सिद्धू अब औपचारिक रूप से कांग्रेस में शामिल हो गए हैं. दिल्ली में ही गुपचुप तरीके से सिद्धू ने राहुल गांधी की मौजूदगी में कांग्रेस का हाथ थामा. बीते साल बीजेपी का दामन छोड़ने के बाद और आम आदमी पार्टी से बात नहीं बनने के बाद आवाज़-ए-पंजाब मोर्चा तक बनाया, लेकिन झोली भरी कांग्रेस की.
कौन हैं सिद्धू? जानिए, सिद्धू की शख्सियत और उनकी जिंदगी से जुड़ी खास बातें:-
रह चुके हैं क्रिकेटर
नवजोत सिंह सिद्धू 1983 से 1999 तक टीम इंडिया का अहम हिस्सा रहे. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास के बाद पहले उन्होंने दूरदर्शन पर क्रिकेट के लिए कमेंट्री शुरू की. इसके कुछ समय बाद ही उन्होंने सक्रिय राजनीति में कदम रखा. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट जगत में उनका नाम निहायत ही इज्जत और अदब से लिया जाता है.
टेस्ट क्रिकेट में उन्होंने पहला मैच वेस्ट इंडीज़ के खिलाफ 1983 के दौरान अहमदाबाद में खेला जिसमें वे सिर्फ़ 19 ही रन बना पाए. 1987 वर्ल्ड कप में सिद्धू को शामिल किया गया. सिद्धू ने 5 में से 4 मैच खेले और हर मैच में अर्धशतक ठोका.
पाकिस्तान के खिलाफ़ शारजाह में खेलते हुए 1989 में उन्होंने पहला शतक लगाया. ग्वालियर के मैदान पर 1993 में उन्होंने इंग्लैण्ड के खिलाफ नॉट आउट रहते हुए 134 रन बनाये जो उनका एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट का सर्वोच्च स्कोर है. 1999 में क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद मीडिया को दिये गये एक इंटरव्यू में सिद्धू ने कहा था कि एक क्रिकेट समीक्षक के कमेंट से आहत होकर वे क्रिकेट को अलविदा कह रहे हैं.
कैसा रहा राजनीतिक सफर?
क्रिकेट से संन्यास के कुछ समय बाद सिद्धू बीजेपी का कमल खिलाने निकल पड़े. साल 2004 में बीजेपी के टिकट पर सिद्धू अमृतसर की लोकसभा सीट से सांसद चुने गए. तब से वो पंजाब की राजनीति का अहम चेहरा हैं. 2009 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने अपनी जीत का परचम दोबारा लहराया. हालांकि, 2014 के लोकसभा चुनाव में वित्त मंत्री अरुण जेटली की खातिर उनका टिकट काट दिया गया लेकिन अमृतसर सीट से जेटली को हार मिली. इस बलिदान की एवज में सिद्धू को राज्यसभा भेजा गया, लेकिन सिद्धू को राज्यसभा रास नहीं आई और उन्होंने जुलाई 2016 में राज्यसभा से इस्तीफा दे दिया.
कॉमेडी शो और पॉपुलर शो का चेहरा हैं सिद्धू
जब भारतीय क्रिकेट टीम 2001 में श्रीलंका के दौरे पर गई तो सिद्धू ने बतौर कमेंट्रेटर निम्बूज स्पोर्ट्ज़ के लिए काम किया. कमेंट्री के दौरान सिद्धू 'वन लाइनर कॉमेडी' करने लगे. उन्हें इस कार्य से काफी लोकप्रियता भी मिली. ई.एस.पी.एन. से अलग होने के बाद सिद्धू ने टेन स्पोर्ट्स ज्वाइन किया और क्रिकेट समीक्षक के नए रोल में टी.वी. स्क्रीन पर दिखाई देने लगे.
अपनी हाजिर जवाबी, तुकबंदी से समां बांधने वाली जुबान और बेतकल्लुफ शेर-व-शायरी के लिए सिद्धू ब-खूबी जाने जाते हैं. अपनी इसी पहचान की वजह से वो कई कॉमेडी और रियालिटी शो के जज रह चुके हैं. सबसे पहले सिद्धू ने 'द ग्रेट इंडियन लाफ्टर चैलेंज' शो जज किया. अभी सिद्धू कपिल शर्मा के शो को जज करते हैं.
पॉपुलर कलचर में लोग सिद्धू के बोलने, जवाब देने और शेर व शायरी से भरी जुबान में बातचीत करने के तरीके के कायल हैं. सिर्फ पंजाब में ही नहीं देश के कोने-कोने में सिद्धू के चाहने वाले हैं और ये संख्या करोड़ों में है.
बेदाग नहीं है सिद्धू की शख्सियत
सिद्धू पर एक शख्स की गैर इरादतन हत्या का आरोप भी लग चुका है. इस आरोप को लेकर उनपर मुकदमा चला और अदालत ने उन्हें तीन साल की सजा सुनाई. जिसके बाद उन्होंने लोकसभा की सदस्यता छोड़कर सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की. सुप्रीम कोर्ट से राहत मिलने के बाद 2007 में उन्होंने दोबारा उसी सीट से चुनाव लड़ा और भारी मतों से विजयी हुए.